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प्रदेश के 5 जिलों में 17 से 19 फरवरी तक हिम्स्खलन-ग्लेशियर टूटने की चेतावनी, सभी जिलाधिकारीयो को किया अलर्ट मोड पर

प्रदेश के 5 जिलों में 17 से 19 फरवरी तक हिम्स्खलन-ग्लेशियर टूटने की चेतावनी, सभी जिलाधिकारीयो को किया अलर्ट मोड पर

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IANS
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(source : IANS)( Photo Credit : (source : IANS))

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उत्तराखंड के हिमालयी जिलों के लिए अगले कुछ दिन मुश्किल भरे रहने वाले हैं। यहां तापमान बढ़ने की वजह से बर्फ पिघलेगी। जिसका असर हिमस्खलन की घटनाओं में बढ़ोतरी के रूप में देखा जा सकता है।

मौसम विभाग ने पांच जिलों के लिए हिमस्खलन की चेतावनी जारी करते हुए येलो और रेड अलर्ट जारी किया है। संबंधित जिलों के डीएम को अलर्ट रहने के निर्देश दिए गए हैं।

मौसम विज्ञानियों के मुताबिक बारिश कम होने की वजह से पर्वतीय इलाकों में स्थिति बिगड़ सकती है। यहां तापमान सामान्य से आठ से 10 डिग्री ज्यादा रहने को लेकर येलो और रेड अलर्ट जारी किया गया है। हिमस्खलन के अलावा नदियों का जलस्तर बढ़ सकता है। मिट्टी की नमी में कमी आ सकती है, जो कि खतरनाक स्थिति है। आज पांच जिलों उत्तरकाशी, चमोली, रुद्रप्रयाग, बागेश्वर और पिथौरागढ़ के लिए चेतावनी जारी की गई है। यहां अधिकतम तापमान 8 से 10 डिग्री सेल्सियस ज्यादा रह सकता है।

17 से 19 फरवरी तक इन्हीं जिलों में अधिकतम तापमान सामान्य से दस से 12 डिग्री सेल्सियस अधिक रह सकता है। मौसम को लेकर संबंधित जिलों के डीएम को अवगत करा दिया गया है। उधर दिन और रात के तापमान में अंतर के चलते मौसमी बीमारियों का कहर भी बढ़ गया है। दून अस्पताल की ओपीडी में मरीजों की संख्या में हर दिन इजाफा हो रहा है। लोग वायरल बुखार, बदन दर्द, खांसी-जुकाम और गले संबंधी समस्याओं से पीड़ित हो कर अस्पताल पहुंच रहे हैं।

मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक विक्रम सिंह के मुताबिक दक्षिण-पश्चिम की हवाओं की दस्तक से अब तापमान में तेजी से बढ़ोतरी होगी और गर्मी का दौर शुरू हो जाएगा। दो हजार मीटर से अधिक ऊंचाई वाले इलाकों में अधिकतम तापमान में बढ़ोतरी के चलते न सिर्फ ग्लेशियर तेजी से पिघलेंगे, बल्कि ग्लेशियरों के टूटने और हिमस्खलन की भी पूरी संभावना है। राजधानी में बुधवार को अधिकतम तापमान 24.6 डिग्री दर्ज किया गया। वहीं, मुक्तेश्वर में अधिकतम तापमान 21.5 डिग्री दर्ज किया गया।

डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.

Source : IANS

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