नीति आयोग के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) अमिताभ कांत ने कहा है कि भारत में प्रौद्योगिकी के बढ़ते प्रसार के कारण डिजिटल लेनदेन मोबाइल वॉलेट्स और बायोमीट्रिक माध्यमों के जरिए किए जाएंगे। इससे एटीएम, क्रेडिट, डेबिट कार्ड्स चलन से खत्म हो जाएंगे।
कांत ने शुक्रवार शाम पीएचडी चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (पीएचडीसीसीआई) की व्यापार और निवेश सेवा सुविधाएं (टीआईएफएस) लॉन्च करने के मौके पर कहा, 'प्रौद्योगिकी का भारत के विकास में महत्वपूर्ण योगदान रहेगा।'
उन्होंने कहा, 'भारत में फिजिकल बैंकिंग लगभग समाप्त हो चुकी है और यहां प्रौद्योगिकी का इतनी तेजी से प्रयोग हो रहा है कि अगले तीन-चार सालों में डिजिटल लेनदेन मोबाइल वॉलेट और बायोमीट्रिक माध्यमों से ही होगा।'
कांत के मुताबिक, 'एटीएम, क्रेडिट, डेबिट कार्ड्स का चलन पूरी तरह खत्म हो जाएगा।'
उन्होंने कहा कि दुनियाभर में छाई आर्थिक मंदी के बावजूद भारत का 7.6 प्रतिशत की दर से विकास हो रहा है।
व्यापार के नियमों को आसान बनाने के सवाल पर उन्होंने कहा, 'पिछले साल हमने 1200 नियम खत्म कर दिए।'
कांत ने कहा कि भारत देश में आने वाले निवेश पर विपरीत प्रभाव डालने वाले नियम-कानूनों को समाप्त करता रहेगा। उन्होंने कहा कि भारत अपनी अर्थव्यवस्था के विस्तार के लिए अनुकूल परिस्थितियां पैदा करेगा।
नीति आयोग के सीईओ ने कहा, 'भले ही ट्रंप अमेरिकी अर्थव्यवस्था के संरक्षणवाद की बात करते हों, लेकिन यहां संरक्षणवाद की कोई चर्चा नहीं है।'
कांत ने कहा, 'भारत वैश्वीकरण में यकीन रखता है और वह कभी भी संरक्षणवाद की बात नहीं करेगा।
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लेकिन उन्होंने साथ ही भारतीय उद्यमों को बाहर के देशों में भी संभावनाएं तलाशने की सलाह दी। उन्होंने कहा, 'अफ्रीका और खाड़ी देशों में नई संभावनाएं हैं।'
भारत में कनाडा के उच्चायुक्त नादिर पटेल ने इस मौके पर कहा कि भारत और कनाडा के द्विपक्षीय संबंध इस समय सबसे अधिक मजबूत हैं।
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Source : IANS