केरल में जेटली की हुंकार, कहा-बर्बर हिंसा से नहीं कमजोर होगी BJP की विचारधारा
केरल में जारी राजनीतिक हिंसा के बीच वित्त मंत्री अरुण जेटली ने राज्य का दौरा कर पार्टी कार्यकर्ताओं का हौसला बढ़ाते हुए उनसे मजबूती के साथ आगे बढ़ने की अपील की।
highlights
- केरल में जेटली की हुंकार, कहा-हत्याओं से नहीं कमजोर होगी BJP की विचारधारा
- बीजेपी और आरएसएस कार्यकर्ताओं की हत्या के खिलाफ केरल दौरे पर हैं अरुण जेटली
- दक्षिण राज्य केरल पार्टी संगठन और विचारधारा दोनों के लिहाज से बीजेपी के लिए बड़ी चुनौती है
नई दिल्ली:
केरल में जारी राजनीतिक हिंसा के बीच वित्त मंत्री अरुण जेटली ने राज्य का दौरा कर पार्टी कार्यकर्ताओं का हौसला बढ़ाते हुए उनसे मजबूती के साथ आगे बढ़ने की अपील की।
केरल वामपंथी राजनीति का गढ़ माना जाता है और बीजेपी उत्तर भारत में चुनावी फतह हासिल करने के बाद दक्षिण के राज्यों पर फोकस कर रही है।
दक्षिण के राज्यों में केरल पार्टी संगठन और विचारधारा दोनों के लिहाज से सबसे बड़ी चुनौती बना हुआ है। यही वजह रही कि पार्टी ने जेटली जैसे वरिष्ठ नेता को भेजकर गंभीर और दूरगामी संदेश देने की कोशिश की है।
जेटली ने कहा कि राज्य में जारी राजनीतिक हिंसा से पार्टी कार्यकर्ताओं के मनोबल पर कोई असर नहीं होगा और नहीं पार्टी की विचारधारा को दबाया जा सकेगा।
जेटली ने कहा, 'इस तरह की हिंसा से केरल में न तो हमारी विचारधारा दबेगी और नहीं हमारे कार्यकर्ता भयभीत होंगे।' उन्होंने कहा कि इस तरह के हमलों से हमारी प्रतिबद्धता में इजाफा होगा और हमारे काम करने की ताकत बढ़ेगी।
उन्होंने कहा, 'कार्यकर्ता के शरीर पर 70-80 घाव थे। दुश्मन भी इतना बर्बर नहीं होता है।'
वित्त मंत्री अरुण जेटली ने तिरुअनंतपुरम में राजनीतिक हिंसा में मारे गए राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ (आरएसएस) के परिजनों से मुलाकात की। जेटली ने कहा कि उन्होंने आरएसएस के कार्यकर्ता राजेश एडावकोडे के परिवार वालों से मुलाकात की, जिनकी बर्बरतापूर्ण हत्या की गई थी।
राजेश पर धारदार हथियार से हमला किया गया था और उनके हाथ को काटकर अलग कर दिया था। केरल में सीपीएम और आरएसएस-बीजेपी के बीच खूनी संघर्ष चल रहा है, जिसमें दोनों तरफ के लोगों की लगातार हत्याएं होती रही हैं।
बीजेपी ने अपने कार्यकर्ताओं पर हो रहे हमलों के लिए सत्तारुढ़ पार्टी मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के कार्यक्ताओं को जिम्मेदार बताते हुए राज्य सरकार से कार्रवाई की मांग की है। वहीं माकपा ने अपने खिलाफ लगे सभी आरोपों को खारिज कर दिया है।
RSS की केरल में कार्यकर्ताओं की हत्याओं पर न्यायिक जांच की मांग
जेटली के दौरे से पहले राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर अपने कार्यकर्ताओं की हत्या के मामले की न्यायिक जांच की मांग की थी। आरएसएस ने कहा था, '14 आरएसएस कार्यकर्ता अब तक मारे जा चुके हैं लेकिन अब तक राज्य सरकार ने कार्रवाई के नाम पर कुछ भी नहीं किया है।'
माना जा रहा है जेटली के दौरे से राज्य में काम कर रहे बीजेपी और आरएसएस कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ेगा। वहीं दूसरी तरफ राज्य सरकार पर भी दबाव बढ़ेगा।
जेटली की यात्रा के बीच ही माकपा कार्यकर्ताओं ने राजभवन के बाहर पार्टी कार्यकर्ताओं की हत्या को लेकर विरोध प्रदर्शन किया। सीपीएम, संघ और बीजेपी पर अपने पार्टी कार्यकर्ताओं की हत्या का आरोप लगाता रहा है।
इस बीच राज्य के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने राजनीतिक हिंसा को खत्म किए जाने को लेकर राज्य में सभी दलों की बैठक बुलाई है।
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