/newsnation/media/post_attachments/images/2018/02/26/68-anna-hajare.jpg)
अन्ना हजारे
पद्मभूषण से अलंकृत वरिष्ठ समाजसेवी अन्ना हजारे ने केंद्र की मोदी सरकार पर लोकतंत्र को कमजोर करने का आरोप लगाया और कहा कि यह तो सिर्फ आश्वासनों की सरकार है।
दो दिवसीय जनजागरण यात्रा पर सोमवार को लखनऊ आए अन्ना ने कहा कि देश में 26 जनवरी, 1950 से लोकतंत्र आ गया, गोरे अंग्रेज देश से चले गए, लेकिन 'काले अंग्रेज' अभी भी हैं। यहां पर नेता, मंत्री व अधिकारी कहने के लिए तो जनता के सेवक हैं, लेकिन अब तो सभी सेवक मालिक हो गए हैं।
पारा क्षेत्र के पारा सदरौना स्थित मान्यवर कांशीराम शहरी आवास कालोनी में आयोजित जनसभा में अन्ना ने कहा कि लोकतंत्र संघर्ष से मजबूत होता है। लेकिन नरेंद्र मोदी सरकार ने लोकतंत्र को कमजोर किया है। इस सरकार का ध्यान काम करने से ज्यादा विरोधियों को दबाने पर है।
उन्होंने कहा कि लोकपाल और लोकायुक्त की नियुक्त का कानून 2013 में ही पारित हो चुका है, लेकिन पांच साल बीत जाने के बाद भी इस पर अमल नहीं किया गया है। नई सरकार आई तो थोड़ी उम्मीद जागी, लेकिन इतने लंबे समय तक कानून को लटकाए रखने की वजह से मोदी सरकार की मंशा पर पूरे देश को शक पैदा होने लगा है। सरकार इसके प्रावधानों में संशोधन करके उसके पूरे उद्देश्य को ही खत्म कर देना चाहती है।
और पढ़ें: OBC बैंक घोटाले में कैप्टन अमरिंदर सिंह के दामाद समेत 13 पर केस दर्ज
अन्ना ने कहा कि चुनावी प्रणाली में सुधार के बिना न तो राजनीतिक भ्रष्टाचार पे लगाम लग सकेगी और न ही जनहित में कार्य होगा, क्योंकि संविधान में पक्ष और पार्टी न होनें के बावजूद चुनावी खामी के कारण ही जनता की सरकार बनने के बजाय दल की सरकार बनती है, इसीलिए सरकारें जनहित के बजाय दलहित में काम करती हैं।
अन्ना ने कहा कि लोकतंत्र को मुक्त कराना है तो ईवीएम-मतपत्र पर प्रत्याशी की फोटो को ही चुनाव चिन्ह बनाया जाए, जिससे न सिर्फ चुनाव चिन्हों की नीलामी बंद होगी, बल्कि प्रत्याशी चुनाव जीतने के बाद भी जनता के बीच रहनें को बाध्य होगा, क्योंकि आगे भी वोट उसे अपने चेहरे को पहचान करानें से ही मिलेगा, इससे राजनीतिक भ्रष्टाचार पर लगाम लगेगा।
उन्होंने कहा कि नोटा को राइट टू रिजेक्ट की पावर देने और वोटों की गिनती टोटलाइजर मशीन से गिनती हो, जिससे लोकतंत्र को प्रभावी बनाया जा सके।
अन्ना हजारे ने कहा, 'हमारे देश में सरकार गिरने से डरती है। आंदोलन से नहीं डरती। आप सभी लोगों में अंदर गिराने की शक्ति है।'
अन्ना ने कहा कि लोकपाल, किसान समस्या और चुनाव सुधार के लिए दिल्ली में 23 मार्च से सत्याग्रह करेंगे। इस बार तो हमारा आंदोलन आश्वासन से खत्म नहीं होगा।
इससे पहले अन्ना सुबह हवाईअड्डे पर पहुंचे जहां सैकड़ों समर्थकों ने उनका स्वागत किया। फिर हवाईअड्डे से सदरौना लेकर कार्यकतोओं ने दुपहिया वाहन पर तिरंगा यात्रा निकाली।
और पढ़ें: रक्षा मंत्री मच्छी खरीद रहे थे और पीएम ने राफेल डील बदल दिया: राहुल
Source : IANS