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मोदी सरकार ने कुछ शर्तें मानीं, अब अन्ना नहीं करेंगे भूख हड़ताल

83 वर्षीय सामाजिक कार्यकर्ता ने शुक्रवार देर शाम महाराष्ट्र में विपक्ष के नेता और पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस की मौजूदगी में इसकी घोषणा की.

News Nation Bureau | Edited By : Nihar Saxena | Updated on: 30 Jan 2021, 07:26:14 AM
Anna Hazare

एमएसपी और स्वामीनाथन आयोगकी सिफारिशों पर माने अन्ना हजारे. (Photo Credit: न्यूज नेशन)

अहमदनगर:  

दिल्ली में कृषि कानूनों के विरोध में चल रहे किसान आंदोलन के बीच सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने भी स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशें लागू करने को लेकर भूख हड़ताल का ऐलान किया था. हालांकि सरकार की ओर से इस बाबत एक कमेटी बनाने और उसमें उन्हें स्थान देने के आश्वासन के बाद अन्ना ने 30 जनवरी से शुरू होने वाली भूख हड़ताल रद्द करने का फैसला किया है. 83 वर्षीय सामाजिक कार्यकर्ता ने शुक्रवार देर शाम महाराष्ट्र में विपक्ष के नेता और पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस की मौजूदगी में इसकी घोषणा की.

हजारे ने फड़णवीस के साथ एक बैठक के बाद कहा, मैं लंबे समय से कई मुद्दों पर आंदोलन कर चुका हूं. शांतिपूर्वक प्रदर्शन करना कोई अपराध नहीं है.। मैं तीन साल से किसानों के मुद्दे उठा रहा हूं. उन्होंने कहा कि किसान इसलिए आत्महत्या करते हैं, क्योंकि उन्हें उनकी उपज की सही कीमत नहीं मिलती. अन्ना हजारे ने 30 जनवरी से शुरू होने वाला उपवास वापस लेने की घोषणा करते हुए कहा, सरकार ने न्यूनतन समर्थन मूल्य (एमएसपी) को 50 प्रतिशत तक बढ़ाने का फैसला किया है- मुझे इस संबंध में पत्र मिला है.

हजारे ने शुक्रवार को कहा, 'केंद्र सरकार ने मेरी कुछ मांगों पर सहमति जताई है और किसानों के जीवन को बेहतर बनाने के लिए एक समिति गठित करने की भी घोषणा की है. मैंने शनिवार से शुरू हो रहे अपने प्रस्तावित अनिश्चितकालीन अनशन को स्थगित करने का फैसला किया है.' गौरतलब है कि केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी ने भी देवेंद्र फडणवीस के साथ हजारे से मुलाकात की थी. चौधरी ने कहा कि हजारे की तरफ से मनोनीत कुछ सदस्यों के साथ एक उच्चस्तरीय समिति उनकी मांगों पर विचार करेगी और 6 महीने में रिपोर्ट सौंपेगी.

First Published : 30 Jan 2021, 07:26:14 AM