अमेरिका ने 104 भारतीयों को डिपोर्ट कर दिया है. सभी 104 नागरिक अपने-अपने घर पहुंच गए हैं. अमेरिका की इस कार्रवाई पर विदेश मंत्री एस जयशंकर ने संसद को संबोधित किया. उन्होंने कहा कि हर देश का दायित्व है कि अगर उनके नागरिक विदेश में अवैध रूप से रहते हुए मिलते हैं तो उन्हें वापस बुलाए. अमेरिकी सरकार के साथ हम बातचीत कर रहे हैं, जिससे ये सुनिश्चित किया जा सके कि लौटने वाले लोगों के साथ किसी भी प्रकार का बुरा व्यवहार न हो.
हम अवैध आव्रजन के उद्योग के खिलाफ कार्रवाई कर रहे हैं
जयशंकर ने आगे कहा कि सदन इस बात की सराहना करेगा कि हम अवैध आव्रजन के उद्योग में शामिल लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई कर रहे हैं. ऐसा होना भी जरूरी है. भारत पहुंचे लोगों से जानकारी प्राप्त करके कानून प्रवर्तन एजेंसियां एजेंटों और एजेंसियों पर शिकंजा कस रहे हैं. इनके खिलाफ आवश्यक कार्रवाई की जाएगी.
कांग्रेस सासंद रणदीप सुरजेवाला के सवाल का जवाब देते हुए जयशंकर ने कहा कि 104 लोग वापस आए हैं. हमने ही उनकी राष्ट्रीयता का सत्यापन किया है. अवैध प्रवासी अमेरिका में अमानवीय हालात में फंसे थे. उन्हें वापस लेना ही था. कार्रवाई अमेरिकी नियमों के मुताबिक ही हुई है. ये कोई नया काम नहीं है. ये बरसों पुराना मुद्दा है. 2012 से ही ये नियम लागू हैं.
186 लोगों के नाम की लिस्ट सामने आई
बता दें, अमेरिकी सेना का विमान भारतीय को लेकर बुधवार शाम भारत पहुंचा. 104 भारतीय पहुंचे हैं, हालांकि, इससे पहले 186 लोगों के नाम की एक लिस्ट सामने आई थी. अब बाकी लोग कहां हैं, इस बारे में अभी कोई जानकारी नहीं है.
अमेरिका समेत 20 देशों में कभी नहीं जा पाएंगे
बता दें, सभी लोगों के बायोमीट्रिक स्कैन लिए गए हैं. अगर अब ये लोग भविष्य में वैध दस्तावेज लेकर भी अमेरिका जाने की कोशिश करते हैं तो भी इनको वीजा नहीं मिलेगा. अमेरिका के अलावा, 104 लोग अब ब्रिटेन, ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड और कनाडा सहित अन्य 20 और देशों में भी नहीं जा सकते हैं. क्योंकि अमेरिका की वीजा नीति 20 देश फॉलो करते हैं.