राजधानी में ईद और नवरात्रि से पहले मटन को लेकर सियासत गरमा गई है. एक ओर भाजपा ने मीठी सेवइयां खाने की सलाह दी है. वहीं कांग्रेस के सांसद इमरान मसूद का बयान भी सामने आया है. मसूद ने कहा, 'हमें एक दूसरे के धर्म और पर्व सम्मान करना चाहिए. यह भारतीय संस्कृति का हिस्सा है. हमें सभी का सम्मान करना चाहिए. मैं तो मीट खाता नहीं हूं. इस दौरान अगर एक दिन मीट नहीं खाओगे तो दिक्कत क्या है. वहीं अगर 10 मीट नहीं खाओगे तो घिस नहीं जाओगे. दूसर को अगर इसमें खुशी मिलती है तो इसमे दिक्कत क्या है'.
मीट की दुकान बंद करनी चाहिए
इससे पहले भाजपा विधायक रविंदर नेगी ने सलाह दी कि मीठी ईद पर सेवइयों का सेवन करें. बकरा ना खाएं. बकरा काटने की आवश्यकता नहीं है. दिल्ली से भाजपा विधायक नीरज बसोया ने नेगी ने इसका समर्थन किया. उन्होंने कहा, नवरात्र में मीट की दुकानें बंद होनी चाहिए. भाजपा सांसद योगेंद्र चंदौलिया ने कहा, नवरात्रि त्योहार की गरिमा को बनाए रखने के लिए मीट की दुकान बंद करनी चाहिए. मीट शॉप मालिक मंगलवार को दुकान बंद कर सकते हैं. भाजपा विधायक अजय महावर ने कहा, खुले में मांसाहारी भोजन काटना, बेचना और पकाने को बंद कर देना चाहिए. यह मीठी ईद है. बकरा ईद नहीं है. हिंदुओं की भावनाओं का ध्यान रखा जाना चाहिए. नवरात्रि के दौरान मांसाहारी/ मटन की खुले में बिक्री और खाना पकाना बंद होना चाहिए. इसके लिए उन्होंने एमसीडी, प्रवर्तन एजेंसियों को पत्र लिखा है.
भाजपा विधायक करनैल सिंह का कहना है कि प्रशासन से अनुरोध है कि नवरात्र में मीट की दुकानें को बंद करवाएं. मीठी ईद है. बकरीद नहीं है. हम उनके धर्म का सम्मान करते हैं. मीठी ईद में सेवइयां खाएं और बकरे की दुकानें को बंद रखें.
शराब की दुकानों को बंद करने की मांग
दिल्ली के बाद जम्मू कश्मीर में भाजपा ने नवरात्रि और मीट शॉप का मामला उठाया. जम्मू-कश्मीर में भाजपा विधायक विक्रम रंधावा और अरविंद गुप्ता ने नवरात्रि में मीट और शराब की दुकानों को बंद करने की मांग की. सभी भाजपा विधायकों का कहना है कि धार्मिक भावनाओं का सम्मान होना जरूरी है. प्रशासन को नवरात्र के मौके पर जम्मू-कश्मीर, खासकर जम्मू क्षेत्र में मीट और शराब की दुकानों को बंद करने आदेश लागू करना चाहिए.