एलन मस्क द्वारा संचालित एयरोस्पेस कंपनी स्पेसएक्स द्वारा पेश की जाने वाली एक किफायती उपग्रह-आधारित इंटरनेट सेवा स्टारलिंक ने दुनिया के दूरदराज और दुर्गम हिस्सों में लोगों के वेब तक पहुंचने के तरीके को बदल दिया है। क्या मस्क इस महीने के अंत में अपने भारत दौरे के दौरान इस इंटरनेट सेवा की घोषणा करेंगे?
भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) के ताजा आंकड़ों के अनुसार, कई असफल प्रयासों के बाद स्टारलिंक भारत में सैटेलाइट ब्रॉडबैंड सेवाएं शुरू करने के लिए तैयार है, जिसके करीब 92 करोड़ ब्रॉडबैंड ग्राहक हैं।
रिलायंस जियो इन्फोकॉम और भारती एयरटेल इस समय ब्रॉडबैंड बाजार में अग्रणी हैं। इसके बाद वोडाफोन आइडिया और बीएसएनएल हैं। नियामक बाधाओं को दूर करने के बाद स्टारलिंक को जल्द ही लाइसेंस मिलने की तैयारी है।
सरकार ने पिछले साल दिसंबर में दूरसंचार विधेयक 2023 पारित किया था, जो नीलामी में भाग लेने की जरूरत के बिना उपग्रह-आधारित सेवाओं के लिए स्पेक्ट्रम आवंटन की अनुमति देता है।
यह कदम वनवेब, मस्क के स्टारलिंक और अमेजन के कुइपर जैसी कंपनियों के पक्ष में है।
विशेषज्ञों के अनुसार, भारत की डिजिटल अर्थव्यवस्था महत्वपूर्ण विकास गति के दौर का अनुभव कर रही है।
सीएमआर के इंडस्ट्री इंटेलिजेंस ग्रुप (आईआईजी) प्रमुख प्रभु राम ने आईएएनएस को बताया, मस्क की यात्रा के साथ स्टारलिंक का संभावित आगमन भारत की संपन्न डिजिटल अर्थव्यवस्था के लिए एक और उत्प्रेरक के रूप में काम कर सकता है।
बढ़ी हुई डिजिटल पहुंच आकांक्षी भारत में नागरिकों को सशक्त बनाएगी, उद्यमिता की लहर को बढ़ावा देगी, शिक्षा और स्वास्थ्य देखभाल तक पहुंच बढ़ाएगी और डिजिटल कार्यबल में भागीदारी बढ़ाएगी।
सभी स्टारलिंक सदस्यता योजनाओं में बिना किसी दीर्घकालिक अनुबंध या प्रतिबद्धता के जमीन पर असीमित हाई-स्पीड डेटा शामिल है। स्टारलिंक उपयोगकर्ता 220 एमबीपीएस तक की डाउनलोड गति प्राप्त कर सकते हैं, जिनमें से अधिकांश को 100 एमबीपीएस से अधिक की गति प्राप्त होती है। भारत में स्टारलिंक सेवाओं की लागत फिलहाल ज्ञात नहीं है।
अमेरिका के ग्रामीण क्षेत्रों में घरों के लिए बुनियादी स्टारलिंक वाई-फाई असीमित इंटरनेट अनुबंध के लिए 120 डॉलर प्रति माह है। साथ ही, अन्य डेटा प्लान भी हैं।
डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.
Source : IANS