केंद्रीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डॉ. जितेंद्र सिंह ने कहा है कि शिक्षा के प्रति प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रतिबद्धता और नए भारत के प्रति उनके दृष्टिकोण ने आईआईएम जैसे विश्व स्तरीय संस्थानों के निर्माण को प्रेरित किया है।
जम्मू शहर के बाहरी इलाके जगती में भारतीय प्रबंधन संस्थान (आईआईएम) को संबोधित करते हुए डॉ. सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी सरकार के तहत भारत की महत्वाकांक्षी पीढ़ी बेहतर दौर से गुजर रही है।
मंत्री ने उपस्थित लोगों से कहा, स्टार्टअप तेजी से बढ़ रहे हैं और इसके चलते नए अवसर खुल रहे हैं। प्रौद्योगिकी ने सभी को समान अवसर प्रदान किए हैं, जिससे हर क्षेत्र के हर व्यक्ति को अवसर मिला है।
ज्यादातर सफल स्टार्टअप कहानियां मजबूत उद्योग संबंधों के चलते संभव हुई हैं।
डॉ. सिंह ने बताया, उदाहरण के लिए, अरोमा मिशन में सरकार ने लैवेंडर में कृषि स्टार्टअप में लगे लोगों की क्षमता निर्माण सुनिश्चित कर लैवेंडर से बने परफ्यूम और अन्य उत्पादों जैसे हिमालयी उत्पादों की बिक्री को बढ़ावा देने के लिए बाजार तक पहुंच की सुविधा प्रदान किया।
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि युवाओं को उस तकनीक का उपयोग करना चाहिए जिसने सामाजिक भलाई के लिए समान अवसर पैदा किए हैं।
डॉ. सिंह ने कहा, पहले, टेक्नोलॉजी कुछ लोगों का विशेषाधिकार था।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने छात्रों से 2047 के भारत की नेतृत्वकारी भूमिका निभाने के लिए खुद को तैयार करने का आह्वान किया।
मंत्री ने कहा, 2047 में जब भारत अपनी स्वतंत्रता की शताब्दी पूरी करेगा, तो युवा ही विकसित भारत के निर्माता होंगे।
उन्होंने कहा कि सरकार अपनी युवा पीढ़ी को नए कौशल से लैस करने के लिए अथक प्रयास कर रही है।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने छात्रों के ज्यादा लाभ के लिए संस्थानों के बीच सहयोग और तालमेल बनाने की वकालत की।
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Source : IANS