प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और तृणमूल कांग्रेस पर राजनीतिक तुष्टिकरण के एजेंडे को आगे बढ़ाने के लिए रामकृष्ण मठ एवं रामकृष्ण मिशन, भारत सेवाश्रम संघ और इस्कॉन जैसे संस्थानों का अपमान करने का आरोप लगाया।
पुरुलिया लोकसभा क्षेत्र से भाजपा उम्मीदवार ज्योतिर्मय सिंह महतो के समर्थन में आयोजित एक रैली में प्रधानमंत्री ने कहा, विवेकानंद द्वारा स्थापित रामकृष्ण मिशन के साथ भारत सेवाश्रम संघ और इस्कॉन जैसे संस्थानों की उनके सामाजिक कार्यों तथा मानवीय विकास कार्यों की वजह से दुनिया भर में तारीफ होती है। उनका एकमात्र उद्देश्य मानव मात्र की सेवा है। लेकिन अब मुख्यमंत्री सार्वजनिक मंचों से इन महान संस्थानों के संन्यासियों को चेतावनी दे रही हैं। वह अपने समर्पित वोट बैंक को खुश करने के लिए तुष्टिकरण की राजनीति को आगे बढ़ाने के लिए ऐसा कर रही हैं।
उन्होंने कहा कि इससे पता चलता है कि सत्तारूढ़ पार्टी अपने समर्पित वोट बैंक को खुश करने के लिए कितनी उतावली हैं। उन्होंने कहा कि ऐसे महान संस्थानों का अपमान करने वाली पार्टी पश्चिम बंगाल में एक भी वोट पाने की हकदार नहीं है। मुख्यमंत्री को इन संस्थानों से जुड़े लाखों लोगों की भावनाओं का कोई ख्याल नहीं है।
पीएम ने कहा कि तृणमूल कांग्रेस संदेशखाली के मुख्य आरोपी शेख शाहजहां को बचाने के लिए वहां की महिलाओं की स्मिता के साथ समझौता कर रही है। उन्होंने कहा, तृणमूल कांग्रेस शाहजहां को बचाने के लिए संदेशखाली की महिलाओं पर आरोप लगा रही है और उनकी छवि खराब कर रही है। सत्तारूढ़ दल संदेशखाली की महिलाओं के चरित्रहनन पर उतर आई है। मुझे यकीन है कि बंगाल की महिलाएं इसका जवाब अपने वोट से देंगी।
उन्होंने तृणमूल कांग्रेस पर पिछड़ा वर्ग का आरक्षण कम कर अपने वोट बैंक को देने के लिए कांग्रेस के साथ साठगांठ करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, आप कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस के वोट बैंक नहीं हैं और इसलिए वे आपके बारे में नहीं सोचते हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि 4 जून के बाद भ्रष्टाचारियों पर कार्रवाई तेज की जाएगी। उन्होंने कहा, मैं आपसे वादा करता हूं कि इन भ्रष्टाचारों के मास्टरमाइंड अपनी पूरी जिंदसी सलाखों के पीछे बिताएंगे।
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Source : IANS