AC Temperature New Limit: देशभर में बढ़ती गर्मी और बिजली की बढ़ती खपत को देखते हुए केंद्र सरकार ने एयर कंडीशनर (AC) से जुड़ा एक बड़ा फैसला लिया है. अब नया एसी खरीदने वालों को 16 या 18 डिग्री पर एसी चलाने की आजादी नहीं मिलेगी. सरकार ने तय किया है कि नए एसी मॉडल्स में तापमान केवल 20 से 28 डिग्री सेल्सियस के बीच ही सेट किया जा सकेगा.
सरकार का मानना है कि इस फैसले से बिजली की खपत में कमी आएगी, जिससे उपभोक्ताओं को बिजली बिल में राहत मिलेगी. ऊर्जा मंत्रालय और ब्यूरो ऑफ एनर्जी एफिशिएंसी (BEE) ने इस संबंध में नोटिफिकेशन भी जारी कर दिया है.
क्या कहते हैं विशेषज्ञ
विशेषज्ञों के मुताबिक, एसी का तापमान हर एक डिग्री कम करने पर बिजली की खपत 6% तक बढ़ जाती है. यानी अगर आप 18 डिग्री पर एसी चलाते हैं तो उसका बिजली खर्च कहीं ज्यादा होगा. इसके अलावा शरीर पर भी इसका बुरा असर पड़ता है. विशेषज्ञ बताते हैं कि अत्यधिक ठंडी हवा से सर्दी, खांसी, सांस संबंधी समस्याएं, त्वचा में रूखापन और जोड़ों में दर्द जैसी दिक्कतें हो सकती हैं.
पर्यावरण संरक्षण की दिशा में सकारात्मक पहल
सरकार का यह कदम न केवल बिजली बचत के लिहाज से अहम है, बल्कि पर्यावरण संरक्षण की दिशा में भी एक सकारात्मक पहल माना जा रहा है. आंकड़ों के मुताबिक, एसी से सालाना हजारों करोड़ यूनिट बिजली की खपत होती है, जिसका बड़ा असर पर्यावरण और ऊर्जा संसाधनों पर पड़ता है.
जापान, इटली और स्पेन जैसे देशों में पहले से ही एसी के तापमान को लेकर सख्त नियम लागू हैं. जापान में डिफॉल्ट टेम्परेचर 26 डिग्री है, जबकि इटली और स्पेन में यह 23 से 27 डिग्री के बीच रहता है.
पुराने एसी पर भी हो सकता है लागू
फिलहाल, यह नियम केवल नए एसी मॉडल्स पर लागू होंगे. आने वाले समय में इसे पुराने एसी पर भी लागू किया जा सकता है. विशेषज्ञों का मानना है कि 24 से 26 डिग्री के बीच एसी चलाने से न केवल बिजली की बचत होती है, बल्कि स्वास्थ्य के लिए भी यह ज्यादा अनुकूल है.
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