मणिपुर में 15 जून तक नई सरकार बनने की संभावना है. प्रदेश के 10 विधायकों ने बुधवार को राज्यपाल अजय कुमार भल्ला से मुलाकात की थी. उन्होंने सरकार बनाने का दावा पेश किया था. 10 विधायकों में आठ भाजपा, एक-एक विधायक एनपीपी और निर्दलीय हैं. सूत्रों के अनुसार, 15 जून तक सरकार बन जाएगी. इन सबके बीच, विधानसभा अध्यक्ष सत्यव्रत केंद्रीय नेतृत्व के बुलावे पर दिल्ली के लिए रवाना हो गए हैं.
बता दें, मणिपुर में विधानसभा की 60 सीटें हैं. सरकार बनाने के लिए बहुमत का आंकड़ा 31 है. 13 फरवरी से मणिपुर में राष्ट्रपति शासन लागू है.
9 फरवरी को सिंह ने दिया था इस्तीफा
मणिपुर में भाजपा सरकार का नेतृत्व करने वाले भाजपा नेता और मणिपुरा के सीएम एन बीरेन सिंह ने नौ फरवरी को पद से इस्तीफा दे दिया था. सिंह पर डेढ़ साल से अधिक समय तक चली हिंसा को रोक न पाने के कारण काफी ज्यादा दवाब था. प्रदेश में तीन मई 2023 से अब तक कुकी और मैतेई समुदाय के बीच हिंसा हो रही है. 300 से ज्यादा लोगों की अब तक मौत हो चुकी है. 1500 से ज्यादा लोग घायल हैं. 70 हजार से ज्यादा लोगों को विस्थापित होना पड़ा है. छह हजार से ज्यादा एफआईआर दर्ज की गई है. विपक्षी दल लगातार एनडीए से मणिपुर हिंसा को लेकर सवाल कर रहे थे.
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बहुमत से ज्यादा विधायक भाजपा के पास
मणिपुर विधानसभा में 60 सीटें हैं, जिसमें से अभी 59 विधायक हैं. एक विधायक की मौत हो गई थी, जिससे एक सीट खाली पड़ी है. भाजपा गठबंधन में कुल 44 विधायक है, जिनमें 32 मैतई, नौ नागा और 3 मणिपुरी मुस्लिम विधायक शामिल हैं. वहीं, कांग्रेस के पास पांच विधायक हैं. बाकी के 10 विधायक कुकी समुदाय से हैं, खास बात है कि 10 में से सात विधायकों ने 2022 में भाजपा के टिकट से चुनाव जीता था.
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