/newsnation/media/media_files/thumbnails/202511073568092-155590.jpg)
(source : IANS) ( Photo Credit : IANS)
नई दिल्ली, 7 नवंबर (आईएएनएस)। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने शुक्रवार को सोशल मीडिया पर चल रही उन रिपोर्ट्स को खारिज कर दिया, जिनमें दावा किया गया है कि केंद्रीय बैंक ने अपने भंडार से करीब 35 टन सोना बेच दिया है।
इसके साथ ही, आरबीआई इन रिपोर्ट्स को केवल निराधार अफवाह बताया है और आधिकारिक जानकारी के लिए लोगों को वेरिफाइड सोर्स से जानकारी प्राप्त करने को कहा है।
पीआईबी फैक्ट चेक यूनिट द्वारा की गई एक्स पोस्ट में बताया गया कि केंद्रीय बैंक ने स्पष्टीकरण दिया है कि इस प्रकार की कोई बिक्री नहीं की गई है और जनता से अपील की कि केवल आधिकारिक जानकारी पर ही भरोसा करें।
आरबीआई ने अपने आधिकारिक एक्स हैंडल पर पोस्ट किया, भारतीय रिजर्व बैंक ने पीआईबी फैक्ट चेक यूनिट के माध्यम से उन दावों का खंडन किया है जिनमें कहा गया था कि आरबीआई ने अपने भंडार से 35 टन सोना बेचा है। आरबीआई सोशल मीडिया पर फैलाई जा रही निराधार अफवाहों के प्रति आगाह करता है। आरबीआई से संबंधित किसी भी जानकारी के लिए कृपया आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं।
यह स्पष्टीकरण सोने के बाजार में बढ़ती वैश्विक रुचि और अस्थिरता के बीच आया है, क्योंकि कई प्रमुख केंद्रीय बैंक अपनी सोने की खरीदारी में लगातार वृद्धि कर रहे हैं। उभरती अर्थव्यवस्थाएं, विशेष रूप से, अमेरिकी डॉलर से दूर जाने के लिए अपने सोने के भंडार में वृद्धि कर रही हैं। यह ट्रेंड 2022 में पश्चिमी देशों द्वारा रूस की रिजर्व एसेट्स को फ्रीज करने के बाद और तेज हो गया है।
केंद्रीय बैंक की ओर से जारी किए गए आंकड़ों के मुताबिक, 31 अक्टूबर को समाप्त हुए सप्ताह तक आरबीआई के बाद मौजूद गोल्ड रिसर्व की वैल्यू बढ़कर 101.72 अरब डॉलर हो गई है।
वहीं, देश के विदेशी मुद्रा भंडार में गोल्ड रिजर्व की हिस्सेदारी बढ़कर करीब 15 प्रतिशत हो गई है, जो कि कई दशकों का उच्चतम स्तर है।
बीते एक दशक में देश के विदेशी मुद्रा भंडार में गोल्ड की हिस्सेदारी दोगुनी हो गई है, जो कि पहले 7 प्रतिशत थी।
--आईएएनएस
एबीएस/
डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.
/newsnation/media/agency_attachments/logo-webp.webp)
Follow Us