सरकारी कंपनियों ने दिया भारी भरकम डिविडेंड; कोल इंडिया और पीएफसी रहे सबसे आगे

सरकारी कंपनियों ने दिया भारी भरकम डिविडेंड; कोल इंडिया और पीएफसी रहे सबसे आगे

सरकारी कंपनियों ने दिया भारी भरकम डिविडेंड; कोल इंडिया और पीएफसी रहे सबसे आगे

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IANS
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State-run firms pay big dividends; Coal India, PFC lead the pack

(source : IANS) ( Photo Credit : IANS)

मुंबई, 27 अगस्त (आईएएनएस)। सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियां एक बार फिर स्थिर आय चाहने वाले निवेशकों के लिए आकर्षक साबित हुई हैं, क्योंकि इनमें से कई कंपनियों ने पिछले 12 महीनों में भारी डिविडेंड भुगतान की घोषणा की है।

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दीर्घकालिक निवेशकों के लिए ये शेयर न केवल पूंजी वृद्धि प्रदान करते हैं, बल्कि डिविडेंड के माध्यम से नियमित आय भी प्रदान करते हैं।

डिविडेंड किसी कंपनी के लाभ का वह हिस्सा होता है, जो उसके शेयरधारकों को वितरित किया जाता है, जिसका भुगतान आमतौर पर तिमाही, अर्ध-वार्षिक या वार्षिक रूप से किया जाता है।

सरकारी स्वामित्व वाली कंपनियों में, कोल इंडिया 32 रुपए प्रति शेयर के उच्चतम डिविडेंड भुगतान के साथ सबसे आगे रही, जिसने 8.6 प्रतिशत का डिविडेंड यील्ड दिया।

डिविडेंड यील्ड, शेयर के वर्तमान बाजार मूल्य के प्रतिशत के रूप में व्यक्त एनुअल डिविडेंड इनकम को संदर्भित करता है, जो आय-केंद्रित निवेशकों के लिए एक महत्वपूर्ण मानदंड है।

पावर फाइनेंस कॉर्पोरेशन (पीएफसी) ने शेयरधारकों को 19.5 रुपए प्रति शेयर का डिविडेंड दिया, जो 5 प्रतिशत की यील्ड दर्शाता है, जबकि आरईसी लिमिटेड ने 19.1 रुपए प्रति शेयर का डिविडेंड दिया, जो 5 प्रतिशत की यील्ड में परिवर्तित होता है।

एनर्जी सेक्टर की दिग्गज कंपनी ओएनजीसी ने वर्ष के दौरान 13.5 रुपए प्रति शेयर का डिविडेंड वितरित किया, जिससे निवेशकों को 6 प्रतिशत की यील्ड प्राप्त हुई।

बैंक ऑफ बड़ौदा (बीओबी) ने 8.4 रुपए प्रति शेयर का डिविडेंड दिया, हालांकि इसकी यील्ड अपेक्षाकृत मामूली 3 प्रतिशत रही।

नाल्को ने 5 प्रतिशत की यील्ड के साथ 10 रुपए प्रति शेयर का डिविडेंड घोषित किया, जबकि एनएमडीसी ने 4.8 रुपए प्रति शेयर का कम डिविडेंड भुगतान घोषित किया, लेकिन 7 प्रतिशत की उच्च यील्ड प्रदान करने में सफल रही।

अन्य कंपनियों के अलावा, बीपीसीएल ने भी 10 रुपए प्रति शेयर का डिविडेंड दिया, जो 3 प्रतिशत की यील्ड में परिवर्तित होता है, जबकि इंजीनियरिंग कंसल्टेंसी फर्म राइट्स लिमिटेड ने 10 रुपए के डिविडेंड के बराबर 4 प्रतिशत की यील्ड प्रदान की।

सूची में सबसे आखिर में बीपीसीएल और हुडको हैं। तेल कंपनी बीपीसीएल ने 10 रुपए का डिविडेंड दिया, जिससे निवेशकों को 3 प्रतिशत का रिटर्न मिला। हुडको ने भी 8.4 रुपए का डिविडेंड दिया, जो 3 प्रतिशत का रिटर्न है।

इस बीच, बीएसई पीएसयू सूचकांक पिछले पांच वर्षों में लगभग 250 प्रतिशत बढ़ा है।

यह वृद्धि इसलिए हुई क्योंकि सूचकांक में शामिल कंपनियां बेहतर प्रदर्शन कर रही हैं, अपने परिचालन का बेहतर प्रबंधन कर रही हैं, अपनी वित्तीय स्थिति में सुधार कर रही हैं और सरकारी सुधारों से लाभान्वित हो रही हैं।

--आईएएनएस

एसकेटी/

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