भारत के आर्थिक आंकड़े मजबूत, महंगाई पर नियंत्रण से कम रहेगी ब्याज दर : आरबीआई

भारत के आर्थिक आंकड़े मजबूत, महंगाई पर नियंत्रण से कम रहेगी ब्याज दर : आरबीआई

भारत के आर्थिक आंकड़े मजबूत, महंगाई पर नियंत्रण से कम रहेगी ब्याज दर : आरबीआई

author-image
IANS
New Update
Mumbai: RBI Governor Addresses Post-Policy Press Conference

(source : IANS) ( Photo Credit : IANS)

नई दिल्ली, 17 दिसंबर (आईएएनएस)। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के गवर्नर संजय मल्होत्रा का मानना है कि आरबीआई के अनुमानों के आधार पर प्रमुख नीतिगत दरें लंबे समय तक कम रहेंगी, क्योंकि भारतीय अर्थव्यवस्था की वृद्धि दर मजबूत है और महंगाई काफी हद तक नियंत्रण में है। फाइनेंशियल टाइम्स (एफटी) की एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई।

Advertisment

मल्होत्रा ने कहा कि अगर भारत के यूरोपीय संघ (ईयू) और अमेरिका के साथ व्यापार समझौतों पर हस्ताक्षर हो जाते हैं, तो देश की आर्थिक वृद्धि आरबीआई के अनुमान से अधिक हो सकती है।

एफटी की रिपोर्ट में आरबीआई के गवर्नर के हवाले से कहा गया कि अमेरिका व्यापार समझौते का प्रभाव लगभग आधा प्रतिशत हो सकता है।

इसका मतलब यह है कि देश की विकास दर आधा प्रतिशत और बढ़ सकती है।

उन्होंने आगे कहा कि केंद्रीय बैंक ने यूरोपीय संघ के व्यापार समझौते के संभावित प्रभाव पर इतनी गहराई से अध्ययन नहीं किया था, लेकिन इससे भी विकास दर में वृद्धि होगी।

कुछ अर्थशास्त्रियों ने भारत के आर्थिक आंकड़ों की गुणवत्ता पर सवाल उठाए। इस पर मल्होत्रा ने कहा, “कुछ आंकड़ों में सुधार हो सकता है, लेकिन मैं मानता हूं कि ये आंकड़े काफी मजबूत और भरोसेमंद हैं।”

आरबीआई गवर्नर ने आर्थिक वृद्धि को बढ़ावा देने के लिए 5 दिसंबर को रेपो रेट में 0.25 प्रतिशत की कटौती करते हुए इसे पहले के 5.5 प्रतिशत से घटाकर 5.25 प्रतिशत कर दिया है।

उन्होंने कहा कि इस वित्तीय वर्ष की दूसरी तिमाही में 8.2 प्रतिशत की वृद्धि और महंगाई में 1.7 प्रतिशत की गिरावट ने भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए एक गोल्डिलॉक्स पीरियड (संतुलित और अनुकूल समय) पैदा किया है।

मल्होत्रा ने आगे कहा कि कम मुद्रास्फीति के चलते विकास को बढ़ावा देने के लिए रेपो रेट में कटौती करनी की गुंजाइश बनी हुई है। आरबीआई ने देश की जीडीपी वृद्धि दर का अपना अनुमान भी पहले के 6.8 प्रतिशत से बढ़ाकर 7.3 प्रतिशत कर दिया है।

रिपोर्ट के अनुसार, आरबीआई अर्थव्यवस्था में ज्यादा पैसे डालने के लिए सरकारी सिक्योरिटीज खरीद के जरिए 1 लाख करोड़ रुपए निवेश करेगा। साथ ही, आरबीआई 5 अरब डॉलर का डॉलर-रुपया स्वैप भी लागू करेगा।

साथ ही केंद्रीय बैंक ने तटस्थ नीतिगत रुख अपनाने का फैसला किया है, ताकि मुद्रास्फीति नियंत्रित रहे और विकास भी बाधित न हो।

--आईएएनएस

दुर्गेश बहादुर/एबीएस

डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.

Advertisment