ओएनजीसी ने भारत के हाइड्रोकार्बन सेक्टर में एक्सप्लोरेशन को बढ़ावा देने के लिए बीपी इंडिया के साथ की साझेदारी

ओएनजीसी ने भारत के हाइड्रोकार्बन सेक्टर में एक्सप्लोरेशन को बढ़ावा देने के लिए बीपी इंडिया के साथ की साझेदारी

ओएनजीसी ने भारत के हाइड्रोकार्बन सेक्टर में एक्सप्लोरेशन को बढ़ावा देने के लिए बीपी इंडिया के साथ की साझेदारी

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IANS
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ONGC joins bp India to drive deeper exploration in India’s hydrocarbon sector

(source : IANS) ( Photo Credit : IANS)

नई दिल्ली, 17 जुलाई (आईएएनएस) । तेल एवं प्राकृतिक गैस निगम लिमिटेड (ओएनजीसी) ने गुरुवार को बीपी इंडिया के साथ एक रणनीतिक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए, जो भारत के हाइड्रोकार्बन एक्सप्लोरेशन में नए आयाम स्थापित करेगा और भारत के अपस्ट्रीम सेक्टर में डीपर एक्सप्लोरेशन को बढ़ावा देगा।

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ओएनजीसी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर जारी एक बयान में कहा कि इसका उद्देश्य भारत के केटेगरी II और III के अपतटीय तलछटी बेसिनों अंडमान, महानदी, सौराष्ट्र और बंगाल में स्ट्रेटीग्राफिक कुओं की ड्रिलिंग में सहयोग करना है।

सरकारी निगम ने कहा, यह साझेदारी भूवैज्ञानिक समझ को बढ़ाएगी और अप्रयुक्त हाइड्रोकार्बन क्षमता को उजागर करेगी, जिससे भारत की दीर्घकालिक ऊर्जा सुरक्षा मजबूत होगी।

ऊर्जा वार्ता 2025 के अवसर पर केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पुरी की उपस्थिति में इस समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए, जिससे भारत की ऊर्जा यात्रा में वैश्विक सहयोग को गहरा करने की सरकार की प्रतिबद्धता की पुष्टि हुई।

ओएनजीसी ने कहा, वैश्विक विशेषज्ञता राष्ट्रीय महत्वाकांक्षाओं से मिलकर आत्मनिर्भर भारत के मार्ग को सशक्त बनाती है।

बीपी इंडिया ने कहा कि यह सहयोग ऊर्जा सुरक्षा और अप्रयुक्त भंडारों की खोज की दिशा में एक और कदम है।

बीपी इंडिया के कंट्री हेड कार्तिकेय दुबे ने कहा, राष्ट्रीय और रणनीतिक महत्व की इस परियोजना में ओएनजीसी के साथ अपने मौजूदा गठबंधन को मजबूत करने के लिए हम उत्साहित हैं। हमारा मानना है कि नए स्ट्रेटीग्राफिक कुओं की ड्रिलिंग बहुत मूल्यवान होगी और इससे नई समझ और क्षमता का विकास हो सकता है।

इस कार्यक्रम में केंद्रीय मंत्री पुरी ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि भारत में शुरू किए जा रहे हाइड्रोकार्बन एक्सप्लोरेशन के नए दौर से गुयाना के आकार के कई बड़े तेल क्षेत्र, विशेष रूप से अंडमान सागर में खोजे जाएंगे।

केंद्रीय मंत्री पुरी ने कहा, हम एक्सप्लोरर्स के लिए उच्च-गुणवत्ता वाले डेटा की उपलब्धता, वित्तीय प्रोत्साहन, स्थिर नियामक ढाँचे, निवेशों को जोखिम-मुक्त बनाने और व्यापार करने में आसानी जैसे क्षेत्रों पर काम कर रहे हैं ताकि भारत को तेल और गैस अन्वेषण एवं उत्पादन के क्षेत्र में अगला वैश्विक अग्रणी बनाया जा सके।

ऊर्जा वार्ता 2025 का उद्देश्य भारत के ऊर्जा परिदृश्य के भविष्य को आकार देने और ऊर्जा क्षेत्र में स्थिरता और नवाचार के प्रति देश की प्रतिबद्धता को सुदृढ़ करने के लिए एक महत्वपूर्ण मंच बनना है।

--आईएएनएस

एसकेटी/

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