'वीआईपी' प्रमुख मुकेश सहनी ने बिहार चुनाव से पहले पार्टी का थीम सॉन्ग 'है हक हमारा आरक्षण' जारी किया

'वीआईपी' प्रमुख मुकेश सहनी ने बिहार चुनाव से पहले पार्टी का थीम सॉन्ग 'है हक हमारा आरक्षण' जारी किया

author-image
IANS
New Update
VIP chief Mukesh Sahani launches party's campaign song to mobilise support ahead of Bihar polls

(source : IANS) ( Photo Credit : IANS)

पटना, 9 जून (आईएएनएस)। बिहार में आगामी विधानसभा चुनाव की तैयारियों के बीच विकासशील इंसान पार्टी (वीआईपी) के अध्यक्ष और पूर्व मंत्री मुकेश सहनी ने रविवार को है हक हमारा आरक्षण नाम का एक कैंपेन गीत लॉन्च किया।

इस गीत का अनावरण पटना में एक विशेष कार्यक्रम में किया गया और यह सामाजिक न्याय, अधिकारों और आरक्षण के लिए चल रहे संघर्ष, खासकर निषाद समुदाय के विषयों पर केंद्रित है।

पार्टी के थीम सॉन्ग के बारे में सहनी ने कहा, यह सिर्फ एक गीत नहीं है, बल्कि हमारे संघर्ष का प्रतीक और हमारे आंदोलन का एक दृष्टिकोण है। विकासशील इंसान पार्टी की स्थापना गरीबों और हाशिए पर पड़े लोगों के अधिकारों के लिए लड़ने के लिए की गई थी और मैं अपनी आखिरी सांस तक इस लड़ाई को जारी रखूंगा।

इस कार्यक्रम में विकासशील इंसान पार्टी को भी काफी बढ़ावा मिला, जब जाने-माने सामाजिक कार्यकर्ता एस.के. सैनी अपने समर्थकों के साथ औपचारिक रूप से पार्टी में शामिल हुए।

एस.के. सैनी का पार्टी में स्वागत करते हुए मुकेश सहनी ने सैनी को पिछड़े समाज का कोहिनूर बताया और कहा कि समाज सेवा में उनका अनुभव पार्टी के जमीनी आंदोलन को मजबूती देगा।

सहनी ने कहा, वीआईपी उनके जैसे व्यक्तियों की तलाश कर रही है, जिन्होंने अपना जीवन सामाजिक कार्यों के लिए समर्पित कर दिया है।

निषाद समुदाय के लिए आरक्षण की अपनी पुरानी मांग को दोहराते हुए वीआईपी प्रमुख ने कहा, मैंने मुंबई विधायक या मंत्री बनने के लिए नहीं, बल्कि अपने लोगों के अधिकारों के लिए लड़ने के लिए छोड़ा था। जाति जनगणना की लड़ाई हमारे पीछे रह गई है; अब हमें 50 प्रतिशत आरक्षण की सीमा की दीवार को गिराना होगा।

उन्होंने सत्तारूढ़ एनडीए गठबंधन को चेतावनी देते हुए कहा, या तो हमें हमारा उचित आरक्षण दें या सीट खाली करें। निषाद समुदाय अब जाग चुका है। चुनाव नजदीक हैं - यह समय है जब लोहा गर्म हो, तब वार करने का।

बिहार में राजनीतिक समीकरणों में बदलाव जारी है, वीआईपी सबसे पिछड़े समुदायों, खासकर निषादों, मछुआरों और अन्य हाशिए पर पड़े वर्गों के प्रतिनिधित्व और अधिकारों पर जोर देकर अपनी जगह बना रही है। पार्टी के प्रचार गीत की शुरुआत, रणनीतिक सामाजिक गठबंधनों और एक ऊर्जावान जमीनी स्तर के अभियान के साथ, आगामी चुनावी लड़ाई में अपने प्रभाव को मजबूत करने के वीआईपी के इरादे का संकेत देती है।

--आईएएनएस

एससीएच/एकेजे

Advertisment

डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.

      
Advertisment