भारत-ब्रिटेन एफटीए से 25.5 अरब पाउंड का अतिरिक्त व्यापार संभव: ब्रिटिश राजनयिक

भारत-ब्रिटेन एफटीए से 25.5 अरब पाउंड का अतिरिक्त व्यापार संभव: ब्रिटिश राजनयिक

भारत-ब्रिटेन एफटीए से 25.5 अरब पाउंड का अतिरिक्त व्यापार संभव: ब्रिटिश राजनयिक

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IANS
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India-UK FTA likely to unlock extra trade worth 25.5 billion pounds: UK diplomat

(source : IANS) ( Photo Credit : IANS)

मुंबई, 13 जून (आईएएनएस)। दक्षिण एशिया के लिए ब्रिटेन के व्यापार आयुक्त हरजिंदर कांग ने कहा कि भारत-ब्रिटेन मुक्त व्यापार समझौते से 25.5 बिलियन पाउंड का अतिरिक्त व्यापार मूल्य संभव होगा।

एक पैनल चर्चा में भाग लेते हुए उन्होंने कहा, यह समझौता केवल एक व्यापार सौदा नहीं है; यह ब्रिटेन-भारत आर्थिक सहयोग के अगले अध्याय का ब्लूप्रिंट है। मौजूदा व्यापार में 43 बिलियन पाउंड और वृद्धिशील लाभ में 25.5 बिलियन पाउंड के साथ यह निर्माताओं और सेवा प्रदाताओं दोनों के लिए वास्तविक लाभ के द्वार खोलता है।

उन्होंने पुष्टि की कि सेवाओं का उदारीकरण, ऑटो टैरिफ (कोटा के साथ) और फ्यूचर-रेडी टेक सिक्योरिटी कॉरिडोर को समझौते में शामिल किया गया है, जिसमें फार्मा, सेमीकंडक्टर और ग्रीन टेक जैसे सेक्टर में संभावित विस्तार शामिल है।

एफटीए की रूपरेखा का विवरण देते हुए उन्होंने कहा कि भारत-ब्रिटेन एफटीए के तहत, यूके को भेजे जाने वाले 99 प्रतिशत भारतीय सामान और भारत को भेजे जाने वाले 90 प्रतिशत यूके सामान टैरिफ-मुक्त हो जाएंगे।

व्हिस्की पर यूके का अधिकतम टैरिफ 10 वर्षों में 150 प्रतिशत से घटकर 40 प्रतिशत हो जाएगा।

उन्होंने बताया कि सीबीएएम (कार्बन बॉर्डर एडजस्टमेंट मैकेनिज्म) भारत-ब्रिटेन एफटीए का हिस्सा नहीं है, जिससे भारतीय उद्योग को भरोसा मिलता है कि इस समझौते के तहत कार्बन टैक्स द्विपक्षीय व्यापार शर्तों को प्रभावित नहीं करेंगे।

पीएल कैपिटल की चेयरपर्सन और एमडी अमीषा वोरा के अनुसार, इलेक्ट्रॉनिक्स, फ्यूल्स, कैमिकल्स, टेक्सटाइल्स और परिधान सहित यूके को भारत के 72 प्रतिशत निर्यात व्यापार अधिशेष चलाते हैं, जिससे ऑटो कंपोनेंट, इंजीनियरिंग सामान और वस्त्र जैसे क्षेत्रों में सार्थक वृद्धि की संभावना है।

एक पैनल चर्चा में एफटीए के सेवा आयाम पर जोर देते हुए, उन्होंने यूके को भारत के 18 बिलियन डॉलर के सेवा निर्यात पर प्रकाश डाला, जो अमेरिका के बाद दूसरा सबसे बड़ा निर्यात है।

वेलस्पन ग्रुप के मुख्य अर्थशास्त्री अनुज अग्रवाल ने कपड़ा क्षेत्र में अवसर पर प्रकाश डालते हुए कहा, यह क्षेत्र भारत के सकल घरेलू उत्पाद का 2.3 प्रतिशत, औद्योगिक उत्पादन का 12-13 प्रतिशत है। साथ ही 45 मिलियन लोगों को रोजगार देता है। लेकिन हमारा यूके निर्यात केवल 1.5 बिलियन डॉलर है। यह एफटीए भारत को अपना हिस्सा पुनः प्राप्त करने का उचित मौका देता है।

--आईएएनएस

एसकेटी/

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