कैबिनेट ने 24,634 करोड़ रुपए के 4 मल्टी-ट्रैकिंग रेलवे प्रोजेक्ट्स को मंजूरी दी

कैबिनेट ने 24,634 करोड़ रुपए के 4 मल्टी-ट्रैकिंग रेलवे प्रोजेक्ट्स को मंजूरी दी

कैबिनेट ने 24,634 करोड़ रुपए के 4 मल्टी-ट्रैकिंग रेलवे प्रोजेक्ट्स को मंजूरी दी

author-image
IANS
New Update
Varanasi: Indian Railways commissions first 70m removable solar panel system

(source : IANS) ( Photo Credit : IANS)

नई दिल्ली, 7 अक्टूबर (आईएएनएस) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की कैबिनेट समिति (सीसीईए) ने मंगलवार को चार राज्यों में चार मल्टी-ट्रैकिंग रेलवे प्रोजेक्ट्स को मंजूरी दी है। इसमें 24,634 करोड़ रुपए की लागत आएगी।

Advertisment

महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, गुजरात और छत्तीसगढ़ के 18 जिलों को कवर करने वाले ये चार प्रोजेक्ट्स भारतीय रेलवे के मौजूदा नेटवर्क को लगभग 894 किलोमीटर बढ़ाएंगे।

सरकार की ओर से जारी आधिकारिक बयान में कहा गया कि इन प्रोजेक्ट्स में महाराष्ट्र के वर्धा-भुसावल के बीच 314 किलोमीटर लंबी तीसरी और चौथी लाइन, महाराष्ट्र और छत्तीसगढ़ के गोंदिया-डोंगरगढ़ के बीच 84 किलोमीटर लंबी चौथी लाइन, गुजरात और मध्य प्रदेश के बड़ौदा-रतलाम के बीच 259 किलोमीटर लंबी तीसरी और चौथी लाइन और मध्य प्रदेश के इटारसी-भोपाल के बीच 237 किलोमीटर लंबी बीना चौथी लाइन शामिल हैं।

यह प्रोजेक्ट्स लगभग 85.84 लाख की आबादी वाले लगभग 3,633 गांवों में कनेक्टिविटी बढ़ाएंगे और इनमें विदिशा और राजनांदगांव के दो आकांक्षी जिले शामिल हैं। नई लाइनें लोगों, वस्तुओं और सेवाओं की आवाजाही के लिए निर्बाध कनेक्टिविटी प्रदान करेंगी और भारतीय रेलवे की परिचालन दक्षता और सेवा विश्वसनीयता में सुधार करेंगी।

यह मल्टी-ट्रैकिंग प्रोजेक्ट्स भारतीय रेलवे नेटवर्क पर परिचालन को सुव्यवस्थित करने और भीड़भाड़ को कम करने में मदद करेगा।

बयान में आगे कहा गया है कि ये प्रोजेक्ट्स प्रधानमंत्री मोदी के नए भारत के दृष्टिकोण के अनुरूप हैं, जो क्षेत्र में व्यापक विकास के माध्यम से क्षेत्र के लोगों को आत्मनिर्भर बनाएगा और उनके रोजगार के अवसरों को बढ़ाएगा।

इन प्रोजेक्ट्स की योजना प्रधानमंत्री-गति शक्ति राष्ट्रीय मास्टर प्लान के अनुसार बनाई गई है, जिसमें एकीकृत योजना और सभी पक्षकारों से परामर्श के माध्यम से मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी और लॉजिस्टिक्स दक्षता बढ़ाने पर ध्यान केंद्रित किया गया है।

यह प्रोजेक्ट्स सांची, सतपुड़ा टाइगर रिजर्व, भीमबेटका, हजारा वाटपफॉल और नवेगांव राष्ट्रीय उद्यान जैसे प्रमुख स्थलों को भी रेल संपर्क प्रदान करता है, जो देश भर से पर्यटकों को आकर्षित करते हैं।

कोयला, कंटेनर, सीमेंट, फ्लाई ऐश, खाद्यान्न और इस्पात जैसी वस्तुओं के परिवहन के लिए यह एक आवश्यक मार्ग है। क्षमता वृद्धि कार्यों के परिणामस्वरूप 78 मिलियन टन प्रति वर्ष (मिलियन टन प्रति वर्ष) अतिरिक्त माल यातायात होगा।

रेलवे, पर्यावरण अनुकूल और ऊर्जा कुशल परिवहन माध्यम होने के कारण, जलवायु लक्ष्यों को प्राप्त करने और देश की रसद लागत को कम करने, तेल आयात (28 करोड़ लीटर) को कम करने और कार्बन उत्सर्जन (139 करोड़ किलोग्राम) को कम करने में मदद करेगा, जो छह करोड़ पेड़ लगाने के बराबर है।

--आईएएनएस

एबीएस/

डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.

Advertisment