आईडब्ल्यूएआई ने पूर्वोत्तर में अंतर्देशीय जलमार्ग और औद्योगिक संपर्क को बढ़ावा देने के लिए 3,000 करोड़ रुपए के एमओयू पर किए साइन

आईडब्ल्यूएआई ने पूर्वोत्तर में अंतर्देशीय जलमार्ग और औद्योगिक संपर्क को बढ़ावा देने के लिए 3,000 करोड़ रुपए के एमओयू पर किए साइन

आईडब्ल्यूएआई ने पूर्वोत्तर में अंतर्देशीय जलमार्ग और औद्योगिक संपर्क को बढ़ावा देने के लिए 3,000 करोड़ रुपए के एमओयू पर किए साइन

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IANS
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Big push for Northeast connectivity: IWAI signs Rs 3,000 crore agreements for waterway and logistics expansion

(source : IANS) ( Photo Credit : IANS)

नई दिल्ली, 21 नवंबर (आईएएनएस)। पत्तन, पोत परिवहन और जलमार्ग मंत्रालय की ओर से शुक्रवार को दी गई जानकारी के अनुसार, भारतीय अंतर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण (आईडब्ल्यूएआई) ने असम के अंतर्देशीय जल परिवहन नेटवर्क और औद्योगिक लॉजिस्टिक्स को मजबूत करने के लिए 3,000 करोड़ रुपए के प्रमुख समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए हैं।

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इन समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर इंडिया मैरीटाइम वीक-2025 के दौरान किए गए थे।

एक प्रमुख समझौता असम पेट्रो-केमिकल्स लिमिटेड (एपीएल) के साथ और दूसरा असम सरकार के साथ राज्य के एक्सटेंसिव रिवर सिस्टम के जरिए माल और यात्रियों की मूवमेंट को बढ़ावा देने, सस्टेनेबल कनेक्टिविटी और क्षेत्रीय विकास के लक्ष्यों को आगे बढ़ाने के उद्देश्य से किए गए हैं।

इस अवसर पर केंद्रीय मंत्री सर्बानंद सोनोवाल ने कहा, ये समझौता ज्ञापन पीएम मोदी के विजन को साकार करने की दिशा में एक बड़ा कदम हैं। पीएम मोदी के नेतृत्व में पूर्वोत्तर क्षेत्र अंतर्देशीय जलमार्ग संपर्क और औद्योगिक अवसरों के केंद्र में परिवर्तित हो रहा है।

मंत्रालय के अनुसार, आईडब्ल्यूएआई और एपीएल के बीच समझौता ज्ञापन का उद्देश्य भारत-बांग्लादेश प्रोटोकॉल रूट (आईबीपीआर) और राष्ट्रीय जलमार्गों (एनडब्ल्यू) के माध्यम से मेथनॉल और फॉर्मेलिन के परिवहन के लिए सहयोग करना है। एपीएल वर्तमान में सालाना 1.98 लाख मीट्रिक टन मेथनॉल और 1.15 लाख मीट्रिक टन फॉर्मेलिन का उत्पादन करता है और नई व्यवस्था इन उत्पादों के थोक, लागत-प्रभावी और पर्यावरण-अनुकूल परिवहन को सक्षम बनाएगी। इस पहल के लिए कुल निवेश 400 करोड़ आंका गया है, जिसमें टैंकर जहाजों और संबंधित इंफ्रास्ट्रक्चर की खरीद शामिल है।

आईडब्ल्यूएआई और असम सरकार के बीच समझौता ज्ञापन, तेजपुर, गुवाहाटी और डिब्रूगढ़ में अर्बन वॉटर ट्रांसपोर्ट सिस्टम (यूडब्ल्यूटी), या वॉटर मेट्रो के विकास पर केंद्रित है। इस परियोजना का उद्देश्य ब्रह्मपुत्र नदी के किनारे एक सस्टेनेबल वॉटर-बेस्ड मोबिलिटी नेटवर्क स्थापित करना है, जिसे सड़क, रेलमार्ग और बस प्रणालियों जैसे मौजूदा परिवहन साधनों के साथ इंटीग्रेट किया जाएगा।

यूडब्ल्यूटी प्रोजेक्ट फेयरवे, नेविगेशन ऐड्स और पैसेंजर टर्मिनल बनाएगी, साथ ही इलेक्ट्रिक हाइब्रिड पैसेंजर बोट की सहायता से एक मॉडर्न और पर्यावरण के अनुकूल ट्रांसपोर्ट सिस्टम तैयार करेगा। कोच्चि मेट्रो रेल लिमिटेड (केएमआरएल) राज्य सरकार के परामर्श से एक व्यवहार्यता अध्ययन कर रहा है। परियोजना की अनुमानित लागत 1,000 करोड़ है, जिसमें भूमि लागत शामिल नहीं है।

--आईएएनएस

एसकेटी/

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