Childs Eyesight: कम उम्र में ही कमजोर हो रहीं बच्चों की आंखें, जानिए बचाव के तरीके

Parenting Tips: आजकल काफी कम उम्र से ही बच्चे लंबे समय तक टीवी, मोबाइल आदि देखने लगते हैं. आप नहीं चाहते कि कम उम्र में बच्चे के चश्‍मा लगे तो आप उसकी लाइफ स्‍टाइल और डाइट में कुछ बदलाव लाएं.

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Neha Singh
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Childs Eyesight: भगवान की बनाई इस प्यारी सी दुनियां को देखने का जरिया हमारी आंखें हैं. फिर भी हम न तो अपनी और न ही अपने परिवार के लोगों की आंखों का ध्यान रखते हैं. अगर आप किसी छोटे बच्चे के माता-पिता हैं और अपने बच्चों की आंखों को परेशानियों से दूर रखना चाहते हैं तो अभी से उसकी इस अजीज चीज का ध्यान रखना शुरू कर दें. आप नहीं चाहते कि कम उम्र में बच्चे के चश्‍मा लगे तो आप उसकी लाइफ स्‍टाइल और डाइट में कुछ बदलाव लाएं. आजकल काफी कम उम्र से ही बच्चे लंबे समय तक टीवी, मोबाइल आदि देखने लगते हैं. साथ ही पोषण की कमी की वजह से बच्चों की आंखें कम उम्र में ही कमजोर होने लगती हैं. हम आपको बताते हैं कि आप किन फूड्स को अपने बच्‍चों के डाइट में शामिल करें जिससे उनके आंखों की रोशनी तेज हो. आइए जानते हैं क्यों होती हैं आंखें कमजोर. 

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तंत्रिका समस्या से होती आंखें कमजोर  

तंत्रिका (नर्व) संबंधी समस्याएं बच्चों की आंखों को कमजोर कर सकती हैं. मस्तिष्क की नर्व, जो दृष्टि को नियंत्रित करती हैं, अगर प्रभावित होती हैं, तो बच्चों की आंखें कमजोर हो सकती हैं और वे अंधे भी हो सकते हैं. समय पर इलाज बहुत जरूरी है.

आनुवंशिक बीमारियां भी होती हैं कारण 

कुछ आनुवंशिक बीमारियां जैसे ऐल्बिनिजम और रेटिनाइटिस पिगमेंटोसा भी बच्चों की आंखों को कमजोर कर सकती हैं. यह बीमारियां परिवार में चलती हैं और इनसे बचना मुश्किल होता है. समय पर जांच और इलाज से इनका किया जा सकता है.

आंखों की बीमारियां भी कर देती हैं कमजोर 

ग्लूकोमा, मोतियाबिंद और रेटिनोब्लास्टोमा जैसी बीमारियां भी बच्चों की आंखों को कमजोर कर सकती हैं. इनसे आंखों की रोशनी धुंधली हो सकती है और अंधापन भी हो सकता है. नियमित जांच और इलाज जरूरी है.

गर्भावस्था से जन्म तक तो कोई दिक्कत नहीं 

गर्भावस्था के दौरान बच्चे की आंखें विकसित होती हैं. इस दौरान किसी गड़बड़ी या समय से पहले जन्म होने पर बच्चे की आंखों में समस्या हो सकती है. प्रेगनेंसी के दौरान नियमित चेकअप और डॉक्टर की सलाह महत्वपूर्ण है.

खराब लाइफस्टाइल भी है सबसे बड़ी वजह 

विटामिन ए की कमी, ज्यादा टीवी देखना, मोबाइल चलाना, गलत तरीके से पढ़ना और कंप्यूटर का अधिक इस्तेमाल बच्चों की आंखों को नुकसान पहुंचाता है. इससे निकट दृष्टि दोष और दूर दृष्टि दोष हो सकता है. सही खान-पान और अच्छी आदतों से इन समस्याओं से बचा जा सकता है.

बच्‍चों के आंखों की रोशनी बढ़ाने के लिए ये खिलाएं

विटामिन ए

विटामिन ए हमारे शरीर की इम्‍यूनिटी को बढ़ाने से लेकर आई साइट बढ़ाने के लिए भी काफी महत्‍वपूर्ण विटामिन माना जाता है. शरीर में विटामिन ए की कमी से आंखें तेजी से कमजोर हो सकती है. इसके लिए आप खाने में चीज, अंडा, लीवर, दूध, हरी सब्जियां, स्‍वीट पोटैटो, रंग बिरंगे फल आदि खाने में दें.

विटामिन ई

विटामिन ई भी आंखों की रोशनी को बढ़ाने के लिए एक जरूरी विटामिन है. इसकी आपूर्ति आप बादाम, मूंगफली,  मक्के का तेल, सरसों के बीज आदि खिलाकर कर कर सकते हैं.

ओमेगा 3 फैटी एसिड

ओमेगा 3 फैटी एसिड की कमी से भी बच्‍चों के आंखों पर चश्‍मा लग सकता है. इसके लिए आप डाइट में ड्राई फ्रूट्स, कोल्‍ड वॉटर फिश, ब्रोकोली आदि दे सकते हैं.

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Disclaimer: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें.

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