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Weight Loss: क्या डिलीवरी के बाद मोटापे से हैं परेशान? जानें अचूक तरीका, एक्सपर्ट ने दी ये राय

अक्सर डिलीवरी के बाद महिलाओं का वजन बढ़ता है. इसके कारण उन्हें कई परेशानियों का सामना करना पड़ता है, जानें इस खास टिप्स को जिसे अपनाकर महिलाएं अपना वेट लॉस कर सकती हैं

Updated on: 27 May 2023, 10:05 PM

नई दिल्ली:

प्रेगनेंसी के दौरान अक्सर महिलाओं का वजन तेजी से बढ़ता है. उनके पुराने कपड़े शरीर पर टाइट होने लगते हैं. यह सिलसिला डिलीवरी के बाद भी जारी रहता है. बच्चा छह माह तक मां के दूध पर निर्भर रहता है. ऐसे में मां अपने शरीर पर ध्यान नहीं दे पाती. इससे शरीर बेडौल सा हो जाता है. खासकर सिजेरियन डिलीवरी केस में मां को ज्यादा परेशानी होती है. महिलाएं पेंट से जुड़ी एक्सरसाइज को नहीं कर पातीं. इससे उनका वजन और बढ़ जाता है.

प्रेगनेंसी के छह माह बाद महिलाओं को इस वेट को घटाने में कड़ी मशक्कत करनी पड़ती है. आज हम आपको ऐसा तरीका बताएंगे जिसे डिलीवरी के छह महीने बाद महिलाएं फाॅलो कर आसानी से अपना वजन घटा सकती हैं. इसके साथ शरीर को पौष्टिक अहार भी मिले इसका भी ख्याल रख सकती हैं. 

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मेरठ की मशहूर डाइटिशियन डॉक्टर भावना गांधी के अनुसार, 'डिलीवरी के तुरंत बाद महिला को संतुलित और पौष्टिक आहार की सलाह दी जाती है। क्यों​कि इस समय बच्चा मां का दूध फीड कर रहा होता है. ऐसे में हम डिलीवरी के छह माह बाद डाइट को फॉलों करने की सलाह देते हैं. हालां​कि शरीर में किसी तरह की बीमारी होने पर हम डाइटिंग को अवाइड करते हैं. पहले महिलाओं को अपनी बीमारी का इलाज करने के लिए कहा जाता है.' डॉ भावना का कहना है कि महिलाओं को अगर अपना वेट लूज करना है तो बताई गई डाइट का कड़ाई से पालन करना होता है.

उनका कहना है कि क्ली​निक पर आने वाली महिलाओं के वजन, हाइट, आयु और शारीरिक स्थितियों को देखकर वे डाइट को तय करती हैं. डॉ भावना ने एक कॉमन डाइट चार्ट को लोगों से सांझा करने की कोशिश की है. 

ये है सैंपल डाइड चार्ट 

2 अंजीर +2 मुनक्का भिगो दें
रात भर पानी में

सुबह खाली पेट पानी का सेवन करें.
हो सके तो अंजीर और मुनक्का भी खाएं

5 बादाम +2 अखरोट
रात भर भिगोया हुआ
खाली पेट सेवन करें.

नाश्ता - (सुबह 8:30 बजे)

भरवां चपाती (1)
या जेव (गेहूं)
या पोहा या उपमा या नमकीन दलिया (1 चौथाई प्लेट)
या ओट्स या दलिया- 1 सूप बाउल
चपाती-1 के बराबर कुछ भी
+
1 कप दूध
+1 कटोरी स्प्राउट्स
या
50 ग्राम पनीर या
35 ग्राम सोयाबीन
या
1/2 कप सोयाबीन के दाने

दोपहर 12.00 बजे

उपलब्धता के अनुसार कोई भी मौसमी फल औसतन 400 ग्राम (संख्या में 3-4)

दोपहर का भोजन (दोपहर 2:30 )

सलाद - 1 प्लेट
दाल या पनीर या सोयाबीन -1 कट
सब्जी - 1 कट
दही या रायता - 1 कटोरी
चपाती- 2

या

4-6 सूजी इडली
या 1 चौथाई प्लेट चावल
चपाती के साथ - 1

शाम की चाय-

दूध- 1 कप +
भुने हुए मखाने (10-12) या
भुना चना (35 ग्राम)
  या
2 रस्क
 या
3-4 मैरी बिस्किट
या
चना, मुरमुरा, मखाने की रोस्टेड होम मेड नमकीन - 1 कटोरी

रात का खाना (सुबह 9:00-9:30)

सलाद - 1 प्लेट (मिश्रित)
दाल या पनीर या सोयाबीन -1 कट
सब्जी - 1 कट
सामान्य या मिस्सी या रागी रोटी - 1 या 1/2 कटोरी चावल

 सोने के समय
 
- गुनगुना पानी - 1/2 कप
पानी - 8-10 गिलास/दिन

यदि संभव हो तो 1-2 कप ग्रीन टी/दिन

दाल = 3 कटोरी प्रतिदिन
तेल = 20 मिली प्रतिदिन
नमक: प्रतिदिन 2-4 ग्राम

क्या न खाएं

- तला हुआ भोजन, नमकीन, अचार

- कोल्ड ड्रिंक, मिठाई.

- प्रसंस्कृत भोजन जैसे-संरक्षित शराब

- मिठाई, कोल्ड ड्रिंक, शराब, आइसक्रीम नहीं

- नमकीन, तला हुआ भोजन

- कोई लाल मांस नहीं

जरूर करें

- कम मात्रा में बार-बार भोजन (दो से तीन घंटे के गैप पर) का अंतर

पानी - प्रतिदिन 10-12 गिलास

1 फल = 100 ग्राम
प्रति दिन औसतन 3-4 (500 ग्राम) फल
मौसमी फल

व्यायाम- 1/2-1 घंटा टहलें
या
आपकी व्यवहार्यता के अनुसार

अपना व्यक्तिगत चार्ट तैयार करें  

यह एक सैंपल मेन्यू है. व्यक्तिगत आहार चार्ट ऊंचाई, वजन, आयु, शारीरिक स्थितियों (जैसे हाइपोथायरायडिज्म, पीसीओडी) के आधार पर भिन्न होता है. कृपया अपना व्यक्तिगत आहार चार्ट तैयार करें. मधुमेह और गुर्दे के रोगी विशेष डाइट चार्ट के लिए अपने आहार विशेषज्ञ से सलाह लें.