एक्यूप्रेशर भारत में नया नाम नहीं है। शरीर के प्रमुख बिंदुओं पर मसाज करने से दर्द को राहत दिलाने वाली इस पद्धति की शुरुआत चीन से हुई थी। जिसका मतलब अंग्रेजी में 'प्वाइंट्स' होता है। वैकल्पिक चिकित्सा में यह पद्धति लंबे समय से मौजूद है।
एक्यूप्रेशर और एक्यूपंचर दोनों एक ही तरह की पद्धति होती है। इसमें अंतर सिर्फ इतना माना जाता है कि एक्यूपंचर में प्रेशर प्वाइंट्स पर सुई चुभोते है वहीं एक्यूप्रेशर में उन्हीं पर हाथ से मसाज या किसी एक्यिुपमेंट के जरिये करते है।
पैरों और हाथों के पॉइंट्स को दबाते हैं तो रिफ्लेक्सॉलजी कहलाता है, जबकि मसाज के जरिए पूरे शरीर के पॉइंट्स दबाने को शियात्सु कहते हैं। इनमें बेशक इलाज में ज्यादा वक्त लगता है, लेकिन कोई साइड इफेक्ट नहीं होता।
साल 2015 में जार्जटाउन की एक शोध के मुताबिक चूहों के शरीर के प्रमुख प्वाइंट्स पर प्रेशर डालने से उनके दिमाग के तनाव में कमी आती है और दर्द कम होता है। हालांकि मानव शरीर पर इसका क्या असर होता है, इस बारे में उन्होंने कुछ नहीं लिखा था।
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ये हैं एक्यूप्रेशर में हथेली के कुछ प्रमुख बिंदु
Source : News Nation Bureau