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डेल्टा वेरिएंट से लड़ने में कितनी असरदार है Johnson&Johnson की सिंगल डोज वैक्सीन, जानिए यहां

जॉनसन एंड जॉनसन कंपनी ने दावा किया है उसकी सिंगल डोज वाली वैक्सीन डेल्टा वेरिएंट के खिलाफ लड़ने में कारगर है

Updated on: 02 Jul 2021, 04:42 PM

highlights

  • भारत में लॉन्च करने की तैयारी
  • गंभीर बीमारी के खिलाफ 85% असरदार
  • डेल्टा वेरिएंट के खिलाफ लड़ने में कारगर

 

 

दिल्ली:

कोरोना से लड़ने के लिए देश को जल्द ही एक और नया वैक्सीन मिलने वाला है. देश में जल्द ही जॉनसन एंड जॉनसन (Johnson & Johnson)की सिंगल डोज वैक्सीन लॉन्च हो सकती है. फिलहाल इस संबंध में कंपनी की सरकार से बातचीत चल रही है. जॉनसन एंड जॉनसन कंपनी ने दावा किया है उसकी सिंगल डोज वाली वैक्सीन डेल्टा वेरिएंट के खिलाफ लड़ने में कारगर है. हालांकि नई स्टडी के नतीजे शुरुआती है, लेकिन आशाजनक हैं. शोधकर्ताओं ने 10 लोगों के खून का विश्लेषण किया, जिन्हें सिंगल डोज वाली जॉनसन एंड जॉनसन वैक्सीन के साथ टीका लगाया गया था. साथ ही डेल्टा समेत कई दूसरे वेरिएंट के खिलाफ भी इसका टेस्ट किया गया.

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बता दें कि अमेरिकी खाद्य और औषधि प्रशासन (यूएसएफडीए) ने फरवरी में जॉनसन एंड जॉनसन के कोविड-19 रोधी टीके को मंजूरी दे दी थी. जबकि ब्रिटेन में नियामकों ने देश में उपयोग के लिए इसे 28 मई को हरी झंडी दी थी. अब भारत में इसे मंजूरी देने की बात चल रही है.  जॉनसन एंड जॉनसन की कार्यकारी समिति के उपाध्यक्ष और मुख्य वैज्ञानिक अधिकारी डॉ. पॉल स्टॉफ़ल्स ने कहा कि नई स्टडी से विश्व स्तर पर लोगों के स्वास्थ्य की रक्षा में मदद करने के लिए जॉनसन एंड जॉनसन कोविड-19 वैक्सीन की क्षमता को मजबूत किया गया है. पहले के आंकड़ों ने संकेत दिया है कि फाइजर और मॉडर्ना की तरफ से बनाए गए अन्य टीकों के भी डेल्टा वेरिएंट के खिलाफ लड़ने की संभावना है.

जॉनसन एंड जॉनसन का दावा

सिंगल डोज वाला टीका गंभीर या बहुत गंभीर बीमारी के खिलाफ 85% असरदार पाया गया.  वैक्सीन की डोज़ लेने के बाद अस्पताल जाने की जरूरत नहीं पड़ती है.

जॉनसन एंड जॉनसन का दावा कि वैक्सीन दक्षिण अफ्रीका और ब्राज़ील में भी काफी असरदार रही. स्टडी में कहा गया है कि इन दोनों देशों में दूसरे वेरिएंट के केस भी काफी ज़्यादा थे.

वैक्सीन की एक खुराक डेल्टा (बी.1.617.2), बीटा (बी.1.351), गामा (पी.1) वेरिएंट सहित सार्स-सीओवी-2 वेरिएंट की एक सीरीज़ के खिलाफ एंटीबॉडी बनाती है.

कंपनी का कहना है कि कम से कम एक साल तक बूस्टर डोज़ की जरूरत नहीं पड़ेगी.

भारत में कब होगी लॉन्च?
भारत के औषधि महानियंत्रक (डीसीजीआई) ने अब क्लीनिकल स्टडीज की अनिवार्यता को खत्म कर दिया है. लिहाजा़ जॉनसन एंड जॉनसन जल्द इसे भारत में लॉन्च करने की तैयारी में है. कंपनी ने कहा कि वैक्सीन को लेकर उसकी केंद्र सरकार से बातचीत भी चल रही है.