भारत में पहली बार सफलतापूर्वक गर्भाशय ट्रांसप्लांट किया गया। महाराष्ट्र के पुणे के गेलेक्सी केयर लेप्रोस्कोपी इंस्टीट्यूट में एक महिला के गर्भाशय को उसकी 21 साल की बेटी के शरीर में ट्रांसप्लांट किया गया।
दरअसल उसकी बेटी के जन्म से ही गर्भाशय नहीं था। और वह खुद का बच्चा चाहती थी। ऐसे में उसकी मां ने अपना गर्भाशय डोनेट कर दिया। मां का कहना था उनकी बेटी का भला नहीं हो सकता तो उनके गर्भाशय होने का क्या मतलब है।
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इंस्टीट्यूट के डॉ. शैलेश पुनतांबेकर के नेतृत्व में 12 डॉक्टरों के दल ने 8 घंटे में ये सर्जरी की। ये सर्जरी लेप्रोस्कॉपिक टेक्निक की मदद से की गई।
डॉक्टर्स ने बताया कि मां से गर्भाशय को अलग करने में करीब 4 घंटे का समय लगा। डॉक्टरों ने कहा है कि सर्जरी के बाद मां और बेटी, दोनों की सेहत ठीक है।
इस ट्रांसप्लांट जो महिलाओं के लिए एक वरदान की तरह है जो मां बन पाने में असमर्थ है। ऐसे में महिलाओं को समाज में भी कई तरह की बातों को सुनना पड़ता है।
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Source : News Nation Bureau