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Heart Diease Reasons: इंटरमिटेंट फास्टिंग से आपके दिल को है ये बड़ा खतरा, इस रिसर्च से हुआ खुलासा

Heart Diease Reasons: इंटरमिटेंट फास्टिंग (Intermittent Fasting) एक डायट पैटर्न है, जिसके कई स्वास्थ्य लाभ होते है, लेकिन हाल ही में आई एक स्टडी ने खुलासा हुआ ये खतरनाक भी हो सकता है, आइए जानें क्या है इसके नुकसान

Updated on: 20 Mar 2024, 05:17 PM

नई दिल्ली:

Heart Diease Reasons: इंटरमिटेंट फास्टिंग  (Intermittent Fasting) एक डायट सिस्टम है जो आपके खाने को सीमित करके खाने की अवधि और भूख को नियंत्रित करती है. इसका मुख्य उद्देश्य शरीर को लाभ पहुंचाने वाले स्वास्थ्य लाभ प्राप्त करना है, जैसे वजन नियंत्रण, डायबिटिज नियंत्रण, मानसिक तनाव कम करना और अन्य स्वास्थ्य लाभ. इंटरमिटेंट फास्टिंग कई तरह के हो सकते हैं, जैसे कि 16:8 विधि, इट-स्टॉप-इट (Eat-Stop-Eat), और अलटरनेट डे फास्ट (Alternate Day Fasting) शामिल हैं. कई सेलेब्रेटी और सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर्स इसके जरिए वजन घटाने का दावा करते है. इंटरमिटेंट फास्टिंग जहां स्वास्थ्य को फायदा पहुंचाता है, वही इसका अत्यधिक प्रयोग दिल की बीमारियों का कारण बन सकता है, हाल ही में शिकागों स्थित अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन (American Heart Association) की एक स्टडी सामने आयी है, जिसमे कहा गया कि, इंटरमिटेंट फास्टिंग करने वाले लोगों में हॉर्ट डिजीज का खतरा 91 फीसदी बढ़ सकता है. जानकारी के मुताबिक, दिन में 8 घंटे तक भूखे रहने से लोगों में दिल से जुड़ी बीमारियों से मौत का खतरा बढ़ सकता है.

इंटरमिटेंट फास्टिंग  (Intermittent Fasting) क्या होता है.

इंटरमिटेंट फास्टिंग  एक तरह का डायट पैटर्न है, इस डायट में व्यक्ति 8 से 16 घंटे का उपवास करता है, इससे वजन को नियंत्रण करने में या कम करने में काफी मदद मिलती है. साथ ही इससे डायबिटिज नियंत्रण, मानसिक तनाव कम होता है, इंटरमिटेंट फास्टिंग का सबसे लोकप्रिय तरीका 16:8 है, इसमे दिन में 16 घंटे का उपवास होता है, और 8 घंटे आप खाना-पीना हो सकता है. इन 16 घंटों के उपवास में आप कुछ भी सॉलिड नहीं खा सकते. यह मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद माना जाता है, यह वजन घटाने में मदद कर सकता है, इंसुलिन संतुलन को सुधार सकता है, मानसिक स्पष्टता और तनाव को कम कर सकता है, और शरीर की क्षमता को बढ़ा सकता है.

इंटरमिटेंट फास्टिंग  (Intermittent Fasting) कैसे करते है

16:8 विधि: इसमें रोजाना 16 घंटे की खाली अवधि होती है, जिसमें समय सीमित होता है जिसमें आप खा सकते हैं, और 8 घंटे की खाने की अवधि होती है. जैसे कि, यदि आप दिन की शुरुआत करते हैं तो 12 बजे और खाना शुरू करते हैं तो आपको 8 बजे तक खाना पूरा करना होगा.

5:2 विधि: इसमें हफ्ते में दो दिनों के लिए कम खाने की अवधि होती है और बाकी दिनों में आप नियमित भोजन करते हैं. उदाहरण के लिए, आप दिन में 500-600 कैलोरीज़ की सीमित अवधि का पालन कर सकते हैं.

इट-स्टॉप-इट (Eat-Stop-Eat): इसमें आप एक दिन भोजन को पूर्णतः बंद करते हैं, फिर अगले दिन आप नियमित भोजन करते हैं.

अलटरनेट डे फास्ट (Alternate Day Fasting): इसमें आप एक दिन कम खाने की अवधि में रहते हैं और अगले दिन आप नियमित भोजन करते हैं, और यही क्रम जारी रहता है.

इंटरमिटेंट फास्टिंग का उपयोग करने से पहले, व्यक्ति को अपने चिकित्सक से परामर्श लेना चाहिए, खासकर यदि उन्हें किसी ऐसी स्थिति जैसे गर्भावस्था, डायबिटीज, या किसी और मेडिकल समस्या का सामना करना पड़ सकता है.