कोरोना का टीका लगवाने के 9 दिन बाद वॉलंटियर की मौत, भारत बायोटेक ने दी सफाई
कोरोना वैक्सीन के ट्रायल के दौरान भोपाल में एक वॉलंटियर की मौत का मामला सामने आया है. वॉलंटियर के परिवार ने अपने बच्चे की मौत पर सवाल उठाए हैं. जब मामला गरमाने लगा तो भारत बायोटेक की सफाई आई, जिसमें कंपनी ने मीडिया से बातचीत में बताया कि वालंटियर की मौत वैक्सीन का डोज देने के 9 दिनों के बाद हुई है
नई दिल्ली:
कोरोना वैक्सीन के निर्माण को लेकर एक ओर पूरे देश में हर्ष का माहौल है वहीं मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में एक ऐसा मामला सामने आया है जिसमें एक वालंटियर की स्वदेशी कोरोना वैक्सीन लेने के महज 9 दिन बाद ही मौत हो गई है. हालांकि भारत बायोटेक की वैक्सीन से इस मौत का कोई संबंध नहीं बताया है. कोरोना वैक्सीन के ट्रायल के दौरान भोपाल में एक वॉलंटियर की मौत का मामला सामने आया है.
The volunteer passed away nine days after the dosing and preliminary reviews by the site indicate that the death is unrelated to the study dosing. We cannot confirm if the volunteer received the study vaccine or a placebo as the study is blinded: Bharat Biotech
— ANI (@ANI) January 9, 2021
वॉलंटियर के परिवार ने अपने बच्चे की मौत पर सवाल उठाए हैं. जब मामला गरमाने लगा तो भारत बायोटेक की सफाई आई, जिसमें कंपनी ने मीडिया से बातचीत में बताया कि वालंटियर की मौत वैक्सीन का डोज देने के 9 दिनों के बाद हुई है शुरुआती जांच के मुताबिक इस मौत का वैक्सीनेशन से कोई संबंध नहीं है. इसके साथ ही कंपनी ने मृतक के परिवार को सहानुभूति प्रकट की है.
भारत बायोटेक ने मीडिया में जारी किए गए अपने बयान में बताया कि 21 दिसंबर, 2020 को एक वॉलंटियर की मौत हो गई थी. कंपनी ने बताया कि इसे वैक्सीन के तीसरे चरण के ट्रायल से जोड़कर बताया जा रहा है और मृतक के बेटे द्वारा मृत्यु की सूचना पीपुल्स कॉलेज ऑफ मेडिकल साइंसेज एंड रिसर्च सेंटर को दी गई. कंपनी ने आगे कहा कि वॉलंटियर ने रजिस्ट्रेशन के वक्त तीसरे चरण के ट्रायल के लिए के वालंटियर के तौर पर स्वीकार किए जाने वाले सभी मानदंडों को पूरा किया था इसलिए उसकी मौत की वजह वैक्सीन का ट्रायल नहीं हो सकती है.
कंपनी ने आगे बताया कि जब उसे वैक्सीन लगाई गई तब कंपनी उसके बाद भी उसकी सेहत पर लगातार निगरानी रख रही थी ताकि कंपनी को इस वैक्सीन से होने वाले साइड इफेक्ट के बारे में भी जानकारी मिल सके. कंपनी ने ये भी बताया कि वैक्सीन की डोज लेने के सात दिनों के बाद तक वो वालंटियर पूरी तरह से स्वस्थ था. भोपाल में स्थित गांधी मेडिकल कॉलेज के द्वारा जारी किए गए पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट जिसके बारे में पुलिस ने बताया, इस शख्स की मौत की संभावित वजह कार्डियो रेस्पिरेटरी फेलियर हो सकती है.
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