Lok Sabha Election 2019 : IPC की धारा 124A को लेकर राहुल गांधी की बढ़ी परेशानी, जानें पूरा मामला
लोकसभा चुनाव 2019 (Lok Sabha Election 2019) में पार्टियों के दिग्गज नेता अपने दांव-पेंच से बाज नहीं आ रहे हैं.
नई दिल्ली:
लोकसभा चुनाव 2019 (Lok Sabha Election 2019) में पार्टियों के दिग्गज नेता अपने दांव-पेंच से बाज नहीं आ रहे हैं. हर कोई अपने उम्मीदवारों की जीत के प्रयास में लगा हुआ है. इस बीच कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की परेशानी बढ़ती ही जा रही है. आगरा में एक वकील ने कोर्ट में राहुल गांधी के खिलाफ केस फाइल किया है.
#Agra: A case has been filed by lawyer Narendra Sharma in CJM Court against Congress President Rahul Gandhi for promising in Congress manifesto to abolish Section 124A (Sedition) of the Indian Penal Code. (06.04) pic.twitter.com/1SqMzt1VWT
— ANI UP (@ANINewsUP) April 7, 2019
बता दें कि राहुल गांधी ने अपनी पार्टी की घोषणा पत्र में भारतीय दंड संहिता की धारा 124A (जो कि देशद्रोह के अपराध को परिभाषित करती है) को खत्म करने का वादा है. इस पर आगरा के वकील नरेंद्र शर्मा की ओर से सीजेएम (CJM) कोर्ट में राहुल गांधी के खिलाफ केस फाइल किया गया है. इससे कांग्रेस अध्यक्ष की परेशानी बढ़ सकती है. बता दें कि पूरे देश में धारा-124ए चर्चा का विषय है.
क्या है धारा 124 ए?
भारतीय दंड संहिता (इंडियन पिनल कोड IPC) की धारा 124-ए को ही राजद्रोह का कानून कहा जाता है. अगर कोई व्यक्ति देश की एकता और अखंडता को नुकसान पहुंचाने वाली गतिविधि को सार्वजनिक रूप से अंजाम देता है तो वह 124-ए के अधीन आता है.
साथ ही अगर कोई व्यक्ति सरकार-विरोधी सामग्री लिखता या बोलता है, ऐसी सामग्री का समर्थन करता है, राष्ट्रीय चिन्हों का अपमान करने के साथ संविधान को नीचा दिखाने की कोशिश करता है तो उसके खिलाफ आईपीसी की धारा 124-ए में राजद्रोह का मामला दर्ज हो सकता है. इन गतिविधियों में लेख लिखना, पोस्टर बनाना, कार्टून बनाना जैसे काम भी शामिल होते हैं.
कितनी हो सकती है सजा?
इस कानून के तहत दोषी पाए जाने पर दोषी को 3 साल से लेकर अधिकतम उम्रकैद की सजा हो सकती है.
क्या है इस कानून का इतिहास?
यह कानून अंग्रेजों के जमाने में बना था और अब तक अस्तित्व में है. 1860 में इस कानून को बनाया गया था और 1870 में इसे आईपीसी में शामिल कर दिया गया. उस वक्त अंग्रेज इस कानून का इस्तेमाल उन भारतीयों के लिए करते थे, जो अंग्रेजों के खिलाफ आवाज उठाते थे. आजादी की लड़ाई के दौरान भी देश के कई क्रांतिकारियों और सैनानियों पर यह केस लगाया गया था.
Don't Miss
वीडियो
IPL 2024
मनोरंजन
-
Kajol Workout Routine: 49 की उर्म में ऐसे इतनी फिट रहती हैं काजोल, शेयर किया अपना जिम रुटीन
-
Viral Photos: निसा देवगन के साथ पार्टी करते दिखे अक्षय कुमार के बेटे आरव, साथ तस्वीरें हुईं वायरल
-
Moushumi Chatterjee Birthday: आखिर क्यों करियर से पहले मौसमी चटर्जी ने लिया शादी करने का फैसला? 15 साल की उम्र में बनी बालिका वधु
धर्म-कर्म
-
Vikat Sanakashti Chaturthi 2024: विकट संकष्टी चतुर्थी व्रत कब? बस इस मूहूर्त में करें गणेश जी की पूजा, जानें डेट
-
Shukra Gochar 2024: शुक्र ने किया मेष राशि में गोचर, यहां जानें किस राशि वालों पर पड़ेगा क्या प्रभाव
-
Buddha Purnima 2024: कब है बुद्ध पूर्णिमा, वैशाख मास में कैसे मनाया जाएगा ये उत्सव
-
Shani Shash Rajyog 2024: 30 साल बाद आज शनि बना रहे हैं शश राजयोग, इन 3 राशियों की खुलेगी लॉटरी