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क्या होता है वर्चुअल रैम, क्यों है स्मार्टफोन के लिए ज़रूरी, पढ़े पूरी ख़बर

आजकल स्मार्टफोन यूजर्स के लिए काफी अलग अलग तरह के ऑप्शंस मौजूद है. जिनमें से वह अपने लिए परफेक्ट फोन को चुन सकते हैं. इसमें बैटरी बैकअप, कैमरा और परफॉरमेंस जैसे कई सारे चीजें ध्यान दी जाती हैं.

Updated on: 06 Oct 2021, 04:19 PM

New Delhi:

आजकल स्मार्टफोन यूजर्स के लिए काफी अलग अलग तरह के ऑप्शंस मौजूद है. जिनमें से वह अपने लिए परफेक्ट फोन को चुन सकते हैं. इसमें बैटरी बैकअप, कैमरा और परफॉरमेंस जैसे कई सारे चीजें ध्यान दी जाती हैं. ऐसे ही एक टर्म है वर्चुअल मेमोरी या रैम (Virtual Memory/ Virtual RAM), जो आजकल काफी पॉपुलर हो रहा है. यह आपके स्मार्टफोन की परफॉरमेंस और भी ज्यादा बढ़ा देती है. आपके स्मार्टफोन के परफॉरमेंस के लिए RAM काफी इम्पॉरटेंट होता है. वर्चुअल रैम आपके इंटरनल स्टोरेज (Internal Storage) के एक हिस्से रैम के काम के लिए रिजर्व करते रखता है.

वर्चुअल राम के परफॉरमेंस की बात करे तो फोन में RAM जितना अधिक होगा स्मार्टफोन उतनी ही बेहतर परफॉरमेंस देगा होगा .जैसे एक साथ कई सारे ऐप्स पर काम करना, मल्टी टास्किंग आदि में आपके रैम की काफी जरूरत पड़ती है. ऐसे में ये वर्चुअल रैम आपके फोन को एक बूस्ट देते हैं.

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अगर परफॉरमेंस की तुलना की बात करे तो वर्चुअल रैम की परफॉरमेंस हमेशा फिजिकल रैम की परफॉरमेंस से कम होती है. फिजिकल रैम की स्पीड वर्चुअल रैम से कहीं तेज होती है. वर्चुअल रैम के इस्तेमाल करते  वक्त फिजिकल रैम से काफी सारा डेटा इंटरनल स्टोरेज में ट्रांसफर होता है और वापस फिजिकल रैम में जाता है. यह प्रोसेस थोड़ा स्लो होता है. 

ऐसे में अगर आपके पास एक 8GB रैम वाला स्मार्टफोन हो और 6GB फिजिकल रैम और 2GB वर्चुअल रैम वाला स्मार्टफोन हो तो सिर्फ 8GB रैम वाले स्मार्टफोन की परफॉरमेंस ज्यादा अच्छी होगी. भले ही वर्चुअल रैम (Virtual RAM) फिजिकल रैम जितनी तेज स्पीड न देता हो, लेकिन यह कम पैसे में आपके फोन को समान कैटेगरी में बेहतर परफॉरमेंस देता है. 

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