NN Exclucive: EVM सहित महागठबंधन के भविष्य पर बोले JDU के वरिष्ठ नेता केसी त्यागी

जिससे बीजेपी और जेडीयू के बीच दरार पड़ जाए, लेकिन मैं न्यूज़ नेशन पर यह साफ कर दूं कि भविष्य में कभी भी जेडीयू और आरजेडी का गठबंधन नहीं होने जा रहा.

जिससे बीजेपी और जेडीयू के बीच दरार पड़ जाए, लेकिन मैं न्यूज़ नेशन पर यह साफ कर दूं कि भविष्य में कभी भी जेडीयू और आरजेडी का गठबंधन नहीं होने जा रहा.

author-image
yogesh bhadauriya
एडिट
New Update
NN Exclucive: EVM सहित महागठबंधन के भविष्य पर बोले JDU के वरिष्ठ नेता केसी त्यागी

जदयू के वरिष्ठ नेता के.सी. त्यागी

जनता दल यूनाइटेड (जदयू) के वरिष्ठ नेता के.सी. त्यागी ने जेडीयू और आरजेडी के संगम होने की बात पर कहा कि लालू यादव, उनकी पत्नी राबड़ी देवी और उनकी बेटे हार के डर से ऐसी हवा उड़ाना चाहते हैं. जिससे बीजेपी और जेडीयू के बीच दरार पड़ जाए, लेकिन मैं न्यूज़ नेशन पर यह साफ कर दूं कि भविष्य में कभी भी जेडीयू और आरजेडी का गठबंधन नहीं होने जा रहा.

ईवीएम पर सवाल उठाना है बेमानी:

Advertisment

2014 के चुनाव के बाद नरेंद्र मोदी के 2 सबसे विरोधी नेता थे. एक दिल्ली से अरविंद केजरीवाल और बिहार से नीतीश कुमार, दोनों की पार्टियां और दोनों ही नेता विधानसभा चुनाव उसी ईवीएम से जीते जिसके ऊपर विपक्ष ने सवाल उठाए थे. मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ और राजस्थान के साथ पंजाब में भी कांग्रेस उसी ईवीएम के चलते विधानसभा चुनाव जीती. लिहाजा एवीएम और वीवीपैट पर सवाल उठाना बेमानी है. गौरतलब है कि चंद्रबाबू नायडू ने कहा है कि कांग्रेस समेत उनके पास 21 पार्टियों का समर्थन है और वह ईवीएम और वीवीपैट की पर्चियों की मिलान को लेकर सर्वोच्च न्यायालय जा सकते हैं.

महागठबंधन का भविष्य नहीं:

उत्तर प्रदेश और बिहार दोनों के महागठबंधनओं पर निशाना साधते हुए, केसी त्यागी ने कहा कि कांग्रेस और आरजेडी हो या सपा और बसपा दोनों के महागठबंधन ओं का कोई भविष्य नहीं है. यह फौरी तौर पर सिर्फ चुनाव के लिए बनाए गए गठबंधन है. गौरतलब है कि जौनपुर से सपा अपने उम्मीदवार के तौर पर तेज प्रताप यादव को खड़ा करना चाहती थी, लेकिन मायावती ने अपनी उम्मीदवार को उतार दिया है. जिसके बाद सपा बसपा के बीच खटास की खबरें हैं.

समझदार है दलित समुदाय और सजग भी:

आज दलित समुदाय अपने अधिकारों को लेकर जितना सजग है, उतना इतिहास में कभी नहीं रहा. सर्वोच्च न्यायालय अगर विपरीत फैसला दे तो भी दलित दबाव के जरिए संसद से अपने पक्ष में कानून पारित करवाने की शक्ति रखते हैं. आज दलित बहुत सजग हैं और उन्हें वोट बैंक के तौर पर किसी एक पार्टी के द्वारा तोला नहीं जा सकता.

Source : News Nation Bureau

Janata Dal (United) JDU KC Tyagi Lok Sabha Elections 2019 BJP RJD Lok Sabha Elections PM modi
Advertisment