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महागठबंधन में खींचतान, राजद को भाकपा माले का आखिरी अल्टीमेटम

विधान सभा के चुनावी दंगल में महागठबंधन लगातार बिखरता दिख रहा है. पहले जीतन राम मांझी गये फिर उपेन्द्र कुशवाहा और अब वाम दलों को भी समेट कर नही रख पा रही.

Updated on: 30 Sep 2020, 06:59 PM

पटना:

विधान सभा के चुनावी दंगल में महागठबंधन लगातार बिखरता दिख रहा है. पहले जीतन राम मांझी गये फिर उपेन्द्र कुशवाहा और अब वाम दलों को भी समेट कर नही रख पा रही. मंगलवार और बुधवार को सीपीआई के नेता राबड़ी आवास पर तेजस्वी से मुलाकात करते रहे तो दूसरी तरफ भाकपा माले ने आखिरी अल्टीमेटम दे दिया. 30 सीटों की सूची जारी कर दी गयी है.

सीटों की पहली सूची:

1. तरारी 2. अगिआंव 3. जगदीशपुर 4. संदेश 5. आरा 6. दरौली 7. जिरादेई 8. रघुनाथपुर 9. बलरामपुर 10. पालीगंज 11. मसौढ़ी 12. फुलवारीशरीफ 13. काराकाट 14. ओबरा 15. अरवल 16. घोषी 17. सिकटा 18. भोरे 19. कुर्था 20. जहानाबाद 21. हिलसा 22. इसलामुपर 23. हायाघाट 24. वारिसनगर 25. औराई 26. गायघाट 27. बेनीपट्टी 28. शेरघाटी 29. डुमरांव 30. चैनपुर

भाकपा-माले राज्य सचिव कुणाल का कहना है कि विधानसभा चुनाव में सीटों के तालमेल को लेकर भाकपा-माले व राष्ट्रीय जनता दल के बीच राज्य स्तर पर कई राउंड की बातचीत चली. हमने अपनी सीटों की संख्या घटाकर 30 कर ली थी. संपूर्ण तालमेल की स्थिति में इन प्रमुख 30 सीटों में से भी 10 सीटें और भी कम करते हुए हमने 20 प्रमुख सीटों पर हमारी दावेदारी स्वीकार कर लेने का प्रस्ताव रखा था. लेकिन राजद की ओर से हमारे लिए जो सीटें प्रस्तावित की गईं हैं उनमें हमारे सघन कामकाज, आंदोलन और पहचान जिलों की एक भी सीट शामिल नहीं है. ऐसे में जब पहले चरण के नामांकन का दौर शुरू ही होनेवाला है, हम अपने सीटों की पहली सूची जारी कर रहे हैं. तालमेल को ये अब भी तैयार है. बशर्ते तेजस्वी पहल करें. अन्यथा 30 के बजाय 50 सीटों पर भाकपा माले चुनाव लड़ेगी. हालांकि इस मुद्दे पर राजद कुछ भी कहने से कतरा रही है. राजद के प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी का कहना है कि सीपीआई-एमएल ने अभी ये स्पष्ट नहीं किया है कि वो गठबंधन के बाहर जाएंगे और उम्मीदवारों के नामों को तो कभी भी वापस लिया जा सकता है.