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जाधवपुर यूनिवर्सिटी: छात्रों की हड़ताल खत्म, पुराने पैटर्न से होगा दाखिला, इस्तीफा देंगे वीसी

जाधवपुर यूनिवर्सिटी में पांच दिनों से हड़ताल पर बैठे छात्रों की मांगे मान ली गई हैं। छात्रों के विरोध प्रदर्शन के बाद यूनिवर्सिटी अधिकारियों ने छह स्नात्क कोर्स में खत्म की गई प्रवेश परीक्षा के फैसले को वापस ले लिया है

Updated on: 11 Jul 2018, 06:23 PM

कलकत्ता:

जाधवपुर यूनिवर्सिटी में पांच दिनों से हड़ताल पर बैठे छात्रों की मांगे मान ली गई हैं। छात्रों के विरोध प्रदर्शन के बाद यूनिवर्सिटी अधिकारियों ने छह स्नात्क कोर्स में खत्म की गई प्रवेश परीक्षा के फैसले को वापस ले लिया है। यूनिवर्सिटी अधिकारियों ने बताया कि इस सत्र में दाखिला पुराने पैटर्न पर ही होगा। पर इसके साथ ही वाइस चांसलर ने अपने इस्तीफें की घोषणा भी कर दी है।

छात्र अपनी मांगों को लेकर पांच दिन से अनिश्चित हड़ताल पर बैठे थे। इसके बाद कार्यकारिणी की बैठक में यह कहा गया कि स्नातक के छह कोर्स में 12वीं और प्रवेश परीक्षा दोनों के अंकों को एक समान महत्व दिया जाएगा।

छात्रों ने हड़ताल मंगलवार देर रात फैसले के बाद अपनी हड़ताल खत्म कर दी।

कार्यकारिणी काउंसिल ने कहा कि 'छह ग्रेजुएट कोर्स के विभागों- बंगाली, अंग्रेजी, इतिहास, साहित्य, राजनीति, दर्शनशास्त्र में दाखिले के लिए 50 प्रतिशत अनुपात 12वीं के अंकों का होगा और 50 प्रतिशत अनुपात प्रवेश परिक्षा का होगा।'

इस फैसले पर वाइस चांसलर और उप वाइस चांसलर ने कहा कि 'यह फैसला उनके अकेला का नहीं है, सभी ने मिलकर यह फैसला लिया है। साथ ही उन्होंने कहा कि अपने इस्तीफे लेकर वह राज्यपाल से मिलेंगे।'

छह कोर्स से प्रवेश परीक्षा हटा लेने के बाद संबंधित विभागों के शिक्षकों ने खुद को दाखिले से अलग कर लिया था। वह विश्वविद्यालय दाखिले में बाहरी विशेषज्ञों के हस्तक्षेप के फैसले का भी शिक्षक विरोध कर रहे थे। ये शिक्षक विरोध कर रहे छात्रों के समर्थन में थे।

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सहायक सचिव पार्थ प्रतीम रॉय ने बताया कि 'कार्यकारिणी ने यह फैसला लिया है कि विश्वविद्यालय का एकाधिकार बना रहेगा। साथ ही दाखिला पुराने पैटर्न पर ही होगा।
छात्रों के हड़ताल पर चले जाने के कारण राज्य सरकार पर विरोधी पार्टियों दवाब बना रही थी। जिसके बाद कहा जा रहा है कि वाइस चांसलर ने अपना फैसाला पार्थ चैटर्जी के कहने पर वापस लिया।'

गौरतलब है कि, मंगलवार सुबह हड़ताल पर बैठे 20 में से 4 छात्रों की तबीयत खराब होने लगी थी। जिसके बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया।
इसके बाद रजिस्ट्रार ने लोगों के बिगड़ते स्वास्थय को लेकर चिंता जाहिर की थी और वीसी ने छात्रों से हड़ताल वापस लेने की अपील की थी।

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