Rupesh Pandey success Story: हर कोई अपने जीवन में एक सफल इंसान बनना चाहता है, नाम, पैसा इज्जत हर किसी को चाहिए, लेकिन ये सफलता बहुत कम लोगों को मिलती है. कुछ लोगों को बुढापे में सफलता मिलती है तो कुछ लोगों को बहुत कम उम्र में ही वो सब मिल जाता है जिन्हें पाने के लिए लोग एक उम्र लगा लेते हैं. हम बात कर रहे हैं बिहार के रूपेश पांडे की जिन्होंने इतनी कम उम्र में सफलता हासिल की है. रूपेश पांडे हर युवा के लिए एक प्रेरणा हैं जो अपने जीवन में कुछ करना चाहते हैं. कम उम्र में ही कई राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पुरस्कार प्राप्त कर चुके रूपेश पाण्डेय व्यवसाय जगत में एक जाना पहचाना युवा नाम है जिसने अपनी प्रतिभा के दम पर इस व्यवसायिक जगत में एक बेहतरीन मुकाम बेहद कम समय मे बनाया है.
अपना बिजनेस छोड़ बिहार के विकास के लिए काम
कुछ ही समय मे इनकी कंपनी ने बाजार में अच्छी खासी पकड़ बना ली और रूपेश पाण्डेय कम ही समय मे एक सफल व्यवसायी बनकर उभर पड़े. अपने व्यवसाय के साथ साथ समाज सेवा में भी रूपेश पाण्डेय का सपना था कि देश के हर तबके को बेहतर समाजिक सुविधायें मिल सके, इसलिए उन्होंने कहा कि यदि भारत सरकार चाहे तो उनके साथ मिलकर वे कुछ योजनाओं को हक़ीक़त में धरातल पर ला सकते हैं, फिर उन्होंने अपने गृह राज्य के विकास को संकल्पित होकर बिहार का रुख किया.
रूपेश पाण्डेय ने अपने बिहार के विकास के लिए पटना का रुख किया और इन्होंने अपने कुछ बेहतरीन प्रोपोजल को बिहार सरकार के सामने भी प्रेजेंट किया. उनके इसी विजन को शायद बिहार सरकार अपने दूरदर्शिता के चलते भुनाना चाहती है और एक सफल और युवा व्यवसायी को बिहार विधान परिषद भेजकर उनके द्वारा बिहार की जनता के लिए बेहतरीन योजनाओं को जनहित में उपलब्द्ध कराने की योजना को धरातल पर लाना चाहती है .
बिहार के बेरोजगार युवाओं के लिए करना चाहते हैं काम
चम्पारण के मशहूर युवा समाजसेवी रूपेश पाण्डेय इसबार विधान परिषद के सदस्य बन सकते हैं. पिछले लोकसभा चुनावों में सीतामढ़ी संसदीय क्षेत्र से देवेश चन्द्र ठाकुर के जीत जाने के कारण इस तिरहुत स्नातक क्षेत्र विधान परिषद की सीट खाली हुई है. इस सीट पर एनडीए की तरफ से कई सारे दावेदार हैं पर यह सीट देवेश चंद्र ठाकुर के इस्तीफा के कारण खाली हुई है. बिजनेसमैन रूपेश पांडेय बेहतर उम्मीद्वार हो सकते हैं. इसी महीने इस स्नातक क्षेत्र सीट के चुनाव के लिए नोटिफिकेशन जारी हो सकती है. रूपेश पाण्डेय का कहना है कि प्रदेश के बेहरोजगार स्नातक युवाओं के लिए वे कुछ करना चाहते हैं क्योंकि इन पढ़े लिखे बेरोजगार युवाओं में भरपूर ऊर्जा है और वे इसका सदुपयोग राज्य के विकास में करना चाहते हैं. यदि इनको समुचित व्यवस्थाएं मिलीं तो निश्चित ही बदलाव आएगा.
बिहार विधान परिषद में सदस्यों का विस्तार होने जा रहा है , कुछ सीटें खाली हुई हैं उन्हें भरने की प्रक्रिया में इसबार किसी बड़े राजनीतिक दल के सिंबल पर व्यवसायी व समाजसेवी रूपेश पाण्डेय को बिहार विधान परिषद का सदस्य बनाया जा सकता है. बिहार के चम्पारण के रहने वाले बेहद कम उम्र में सफ़लता पाकर रूपेश पाण्डेय आजकल बिजनेस जगत में चर्चा का केंद्र बने हुए हैं. रूपेश पाण्डेय कम उम्र में ही बड़े सपने लेकर भारत की आर्थिक राजधानी मुम्बई में पधारे थे, उनकी दिली इच्छा देश के लिए कुछ बहुत बेहतरीन करके बड़ा आदमी बनने की थी और किस्मत को भी शायद इन्हें बड़ा मुकाम दिलाना था इसीलिए उन्होंने धीरे धीरे ही सही अपने लक्ष्य को केंद्रित कर एक व्यवसाय करना शुरू कर दिया.
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Source : News Nation Bureau