फडणवीस और ‘मैं समंदर हूं, लौट कर आऊंगा’ वाला तेवर, महाराष्ट्र मॉडल और हिंदुत्व भी बनाता है खास

फडणवीस और ‘मैं समंदर हूं, लौट कर आऊंगा’ वाला तेवर, महाराष्ट्र मॉडल और हिंदुत्व भी बनाता है खास

फडणवीस और ‘मैं समंदर हूं, लौट कर आऊंगा’ वाला तेवर, महाराष्ट्र मॉडल और हिंदुत्व भी बनाता है खास

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IANS
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देवेंद्र फडणवीस का महाराष्ट्र मॉडल हिंदुत्व और विकास, सियासी जीवन में भरी उड़ान

(source : IANS) ( Photo Credit : IANS)

नई दिल्ली, 21 जुलाई (आईएएनएस)। महाराष्ट्र की राजनीति में देवेंद्र फडणवीस का नाम एक ऐसे नेता के रूप में उभरा है, जिन्होंने अपनी सूझबूझ, रणनीतिक दृष्टिकोण और दृढ़ संकल्प से राज्य के सियासी परिदृश्य को नया आकार दिया है।

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22 जुलाई 1970 को नागपुर में जन्मे फडणवीस ने कम उम्र में ही राजनीति में कदम रखा और आज वे महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री के रूप में अपनी तीसरी पारी खेल रहे हैं। उनकी यह यात्रा कठिनाइयों, चुनौतियों और उपलब्धियों से भरी रही है, जो उन्हें भारतीय जनता पार्टी के कद्दावर नेताओं में शुमार करती है।

देवेंद्र फडणवीस का राजनीतिक सफर 1992 में शुरू हुआ, जब वे 22 साल की उम्र में नागपुर नगर निगम के सबसे युवा पार्षद बने। 1997 में वे नगर निगम के सबसे कम उम्र के मेयर चुने गए, जिसने उनकी नेतृत्व क्षमता को राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाई।

फडणवीस 1999 से लगातार नागपुर दक्षिण-पश्चिम विधानसभा सीट से विधायक चुने जा रहे हैं। वह 2014 में 44 साल की उम्र में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री बने, जो शरद पवार के बाद राज्य के सबसे युवा मुख्यमंत्री थे। उनकी यह उपलब्धि उनकी मेहनत और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से जुड़े मूल्यों का परिणाम थी।

देवेंद्र फडणवीस का पहला कार्यकाल (2014-2019) विकास और सुशासन के लिए जाना जाता है। उन्होंने ‘जलयुक्त शिवार’ जैसी महत्वाकांक्षी योजनाओं को लागू किया, जिसका उद्देश्य सूखाग्रस्त क्षेत्रों में जल संरक्षण था। इसके अलावा, मुंबई मेट्रो और समृद्धि महामार्ग जैसी परियोजनाओं ने राज्य के बुनियादी ढांचे को मजबूत किया। उनकी सरकार से कुछ विवाद भी जुडे़, जैसे किसानों की कर्जमाफी और मराठा आरक्षण आंदोलन, जिन्हें उन्होंने रणनीतिक रूप से संभाला।

साल 2024 में देवेंद्र फडणवीस ने महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में भाजपा को 132 सीटों के साथ ऐतिहासिक जीत दिलाई, जिसने उन्हें फिर से मुख्यमंत्री पद के लिए स्वाभाविक पसंद बनाया।

उन्होंने 5 दिसंबर 2024 को तीसरी बार मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। इस बार उनकी चुनौती महायुति में सहयोगियों शिवसेना (एकनाथ शिंदे गुट) और एनसीपी (अजित पवार गुट) के साथ संतुलन बनाए रखने की है।

हाल ही में, गणेशोत्सव को महाराष्ट्र का राजकीय उत्सव घोषित करने का उनका निर्णय सांस्कृतिक पहचान को मजबूत करने की दिशा में एक बड़ा कदम है। देवेंद्र फडणवीस की ताकत उनकी संगठनात्मक क्षमता, जनता से जुड़ाव और विपक्ष को जवाब देने की बेबाक शैली में निहित है।

हालांकि, विपक्षी दलों और सहयोगियों के साथ तनाव उनके लिए चुनौती है। फिर भी, उन्हें ‘मैं समंदर हूं, लौट कर आऊंगा’ वाली छवि ने महाराष्ट्र की राजनीति का सबसे दमदार नेता बनाया है।

--आईएएनएस

एकेएस/एबीएम

डिस्क्लेमरः यह आईएएनएस न्यूज फीड से सीधे पब्लिश हुई खबर है. इसके साथ न्यूज नेशन टीम ने किसी तरह की कोई एडिटिंग नहीं की है. ऐसे में संबंधित खबर को लेकर कोई भी जिम्मेदारी न्यूज एजेंसी की ही होगी.

      
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