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मनी लॉन्ड्रिंग मामले में हवाला डीलर की जमानत याचिका पर सुनवाई 2 दिसंबर को

दिल्ली की एक अदालत अंतर्राष्ट्रीय हवाला लेनदेन से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार किए गए कथित हवाला डीलर नरेश जैन की जमानत याचिका पर दो दिसंबर को सुनवाई करेगी.

Updated on: 28 Nov 2020, 09:41 PM

नई दिल्ली:

दिल्ली की एक अदालत अंतर्राष्ट्रीय हवाला लेनदेन से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तार किए गए कथित हवाला डीलर नरेश जैन की जमानत याचिका पर दो दिसंबर को सुनवाई करेगी. नरेश को सितंबर में गिरफ्तार किया गया था और वह तब से न्यायिक हिरासत में है. प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अनुसार, जैन कथित तौर पर 600 से अधिक खातों का उपयोग करके भारत में 96,000 करोड़ रुपये से अधिक की अवैध लेनदेन में शामिल रहा है. अदालत ने हाल ही में ईडी द्वारा जैन के खिलाफ दायर आरोपपत्र पर संज्ञान लिया और उसके चार फरार सह-आरोपियों के खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी किया है.

ईडी ने 28 अक्टूबर को मनी लॉन्ड्रिंग और अंतराष्ट्रीय हवाला लेनदेन में उसकी भूमिका की जांच के सिलसिले में धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) की धाराओं के तहत जैन के खिलाफ आरोपपत्र दायर किया था.

जांच एजेंसी ने पहले कहा था कि अब तक की गई जांच में पता चला है कि जैन ने अपने गुर्गों के साथ मिलकर जालसाजी की और फर्जी दस्तावेजों के जरिए आपराधिक साजिश रची. एजेंसी ने कहा कि उसने अवैध विदेशी मुद्रा लेनदेन के जरिए लाभार्थियों को आवास प्रविष्टियां प्रदान करके बैंकों को नुकसान पहुंचाया.

ईडी के अनुसार, जैन ने कथित तौर पर शेल कंपनियों, टूर-एंड-ट्रैवल फर्मो और औपचारिक बैंकिंग नेटवर्क के माध्यम से हवाला चैनलों के माध्यम से फंड ट्रांसफर करने का एक अंतर्राष्ट्रीय सिंडिकेट चलाया.

एजेंसी ने आरोप लगाया है कि पहचान प्रमाण, जन्म और शिक्षा प्रमाणपत्र, मतदाता पहचान पत्र, पैन कार्ड और हस्ताक्षर जैसे दस्तावेज जाली या गढ़े गए थे. एजेंसी के अधिकारियों का कहना है कि जैन ने भारतीय नागरिकों द्वारा विदेशों में अपने अंतर्राष्ट्रीय हवाला लेन-देन के ढांचे और भारत के विभिन्न क्षेत्रों में धनराशि निवेश की सुविधा प्रदान की.