मुंबई पुलिस की अपराध शाखा ने एक कॉल सेंटर गिरोह का पर्दाफाश किया है, जिसमें शामिल लोग अपने को भारतीय राजस्व सेवा और आव्रजन अधिकारी बताकर लोगों को बेवकूफ बनाते थे और अमेरिका तथा कनाडा के नागरिकों को वित्तीय मामलों पर कार्रवाई की धमकी देकर उनसे पैसे वसूलते थे. एक अधिकारी ने बताया कि अपराध खुफिया इकाई ने 29 अगस्त को मलाड से एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया था और उससे की गई पूछताछ में मर्वे रोड पर स्थित इजमिमा मार्केट की इमारत और सेज प्लाजा से संचालित होने वाले कॉल सेंटर गिरोह का पता चला.
अधिकारी ने कहा कि 11वीं इकाई और सीआईयू के दल ने वहां से संचालित होने वाले पांच कॉल सेंटर पर छापेमारी की और छह लोगों को गिरफ्तार किया. शनिवार की सुबह तक अभियान चल रहा था. गिरफ्तार किए गए आरोपियों की पहचान फैजान बालिम (23), जीशान अंसारी (21), गणेश सिंह राजपूत (27), मोहम्मद शाहबाज कोरिपोड़ी, नितिन राणे (42) और उजैर सय्यद (29) के रूप में की गई है.
अधिकारी ने कहा कि आरोपी अमेरिका और कनाडा के नागरिकों को कॉल कर अपनी पहचान आईआरएस या आव्रजन अधिकारी बताते थे और उन्हें आर्थिक दंड, जेल और प्रत्यर्पण की धमकी देते थे. आरोपी कहते थे कि यदि सरकार से लिया गया पैसा नहीं दिया तो दंड भुगतना होगा. विदेश में बसे नागरिकों के नंबर अवैध रूप से प्राप्त किए जाते थे.
अधिकारी ने कहा कि आरोपी मादक और उत्तेजक दवाएं भी बेचते थे. अधिकारी ने कहा कि कोविड-19 महामारी और सामाजिक दूरी के नियमों के बावजूद 81 पुरुष और 26 महिलाएं कॉल सेंटर पर काम कर रहे थे. उन्होंने कहा कि आरोपियों पर कानून के तहत मामला दर्ज किया गया है। अधिकारी ने कहा कि छह आरोपियों को शुक्रवार तक पुलिस हिरासत में भेज दिया गया है.
Source : Bhasha