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युवाओं के सपने साकार करती है PMEGP योजना, जानें इसकी ख़ास बातें

PMEGP एक क्रेडिट लिंक्ड सब्सिडी प्रोग्राम (credit linked subsidy programme) है जिसके तहत सरकार लोन के ऊपर सब्सिडी देती है.

Updated on: 17 Dec 2019, 04:04 PM

नई दिल्ली:

प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (Prime Minister’s Employment Generation Programme-PMEGP): अगर किसी युवा के पास कोई खास कौशल है और वह अपने कौशल का इस्तेमाल बिजनेस में करना चाहता है तो PMEGP योजना उसी के लिए है. दरअसल, अपने नाम के मुताबिक ही यह योजना ग्रामीण और शहरी इलाकों के युवाओं को खुद का रोजगार शुरू करने में मदद करती है.

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इस योजना के पीछे सरकार का उद्देश्य गांवों से शहरों की ओर होने वाले पलायन को रोकना है. इस योजना के जरिए हुनरमंद लोग जिनके पास पैसे नहीं है उन्हें सरकार की ओर से इस योजना के जरिए मदद की जाती है. PMEGP एक क्रेडिट लिंक्ड सब्सिडी प्रोग्राम (credit linked subsidy programme) है जिसके तहत सरकार लोन के ऊपर सब्सिडी देती है. मतलब यह हुआ कि आपके लोन का कुछ हिस्सा सरकार द्वारा चुकाया जाता है.

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किसके जरिए होता है संचालन
भारत सरकार के सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्रालय (MSME) के जरिए इस योजना का संचालन किया जाता है. बता दें कि 15 अगस्त 2008 को इस योजना को शुरू किया गया था. खादी एवं ग्राम उद्योग आयोग (KVIC) इस योजना की नोडल एजेंसी है. KVIC राज्यों में राज्य खादी एवं ग्राम उद्योग निदेशालय (State Khadi and Village Industries Board), जिला उद्योग केंद्र (District Industries Centres) और बैंक और गैर बैंकिंग वित्तीय संस्थाओं (Banks and NBFCs) के जरिए युवाओं को रोजगार स्थापित करने में मदद करता है.

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कितनी मिलती है सहायता

  • उत्पादन (Manufacturing) आधारित इंडस्ट्री के लिए अधिकतम 25 लाख रुपये तक का कारोबार स्थापित किया जा सकता है
  • बिजनेस या सेवा क्षेत्र (Business/Service) आधारित बिजनेस के लिए 10 लाख रुपये तक का कर्ज मिलता है

इस योजना की खास बात यह है कि स्वीकृत किए गए कर्ज का कुछ हिस्सा सरकार और शेष को बैंक की ओर से टर्म लोन के रूप में मिलता है. सरकार की ओर से शहरी क्षेत्र के सामान्य आवेदकों को 15 फीसदी और ग्रामीण क्षेत्र के सामान्य आवेदकों को 25 फीसदी भुगतान दिया जाता है. शहरी क्षेत्र के पिछडे आवेदकों (महिला/ SC/ST/OBC/अल्पसंख्यक/शारीरिक विकलांग/Ex-servicemen) को 25 फीसदी और ग्रामीण क्षेत्र के पिछडे आवेदकों को 35 फीसदी भुगतान दिया जाता है.

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PMEGP के लिए कौन कर सकता है अप्लाई
18 वर्ष से अधिक उम्र का कोई भी भारतीय नागरिक PMEGP के तहत कर्ज के लिए आवेदन कर सकता है. हालांकि इसमें एक परिवार से सिर्फ एक ही व्यक्ति इस योजना का लाभ उठा सकता है. एक परिवार में सिर्फ पति और पत्नी को ही शामिल किया जाएगा. माता-पिता, पुत्र या पुत्रियों को शामिल नहीं किया जाता. 10 लाख रुपये से अधिक की उत्पादन यूनिट लगाने के लिए आवेदक को कक्षा 8 पास होना अनिवार्य है, जबकि 5 लाख रुपये की यूनिट के लिए 8 पास होना जरूरी है.

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किस बिजनेस में आजमा सकते हैं हाथ

  • कृषि उत्पादों पर आधारित फूड प्रोसेसिंग
  • वन उत्पादों पर आधारित कारोबार
  • मिनरल या खनिज आधारित उत्पाद
  • पॉलिमर और रासायनिक आधारित उत्पाद
  • रूरल इंजीनिएरिंग और बायोटेक बिजनेस
  • हाथों से बनाए जाने वाले कागज एवं फाइबर के प्रोडक्ट
  • सूत या कपड़ा टेक्सटाइल आधारित बिजनेस
  • सर्विस सेक्टर या सेवाक्षेत्र से जुडा काम