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एल एण्ड टी को डीएमआईसी का मिला कांट्रैक्ट, 1,223 करोड़ रुपये से बुनियादी सुविधाओं का होगा निर्माण

महाराष्ट्र में दिल्ली-मुंबई औद्योगिक कॉरिडोर (डीएमआईसी) प्रोजेक्ट के शेंद्रा-बिडकिन नोड में निर्माण कार्य तेज गति से बढ़ रहा है।

Updated on: 30 Jun 2017, 09:09 AM

नई दिल्ली:

महाराष्ट्र में दिल्ली-मुंबई औद्योगिक कॉरिडोर (डीएमआईसी) प्रोजेक्ट के शेंद्रा-बिडकिन नोड में निर्माण कार्य तेज गति से बढ़ रहा है।

हाल ही में बिडकिन औद्योगिक क्षेत्र में 10 वर्ग किमी क्षेत्र के सड़कों और भूमिगत आम लोगों की सुविधाओं और सेवाओं के निर्माण के लिए एल एंड टी को 1,223 करोड़ रुपये का नवीनतम इंजीनियरिंग, प्रोक्योरमेंट एंड कंस्ट्रक्शन (ईपीसी) का ठेका दिया गया है।

महाराष्ट्र सरकार और राष्ट्रीय औद्योगिक कॉरिडोर विकास और कार्यान्वयन ट्रस्ट (एनआईसीडीआईटी) के बीच संयुक्त उद्यम के रूप में स्थापित विशेष प्रयोजन कंपनी (एसपीसी) औरंगाबाद इंडस्ट्रियल टाउनशिप लिमिटेड (एआईटीएल) ने एल एंड टी को 1,223 करोड़ रुपये की परियोजनाओं के लिए लेटर ऑफ अवॉर्ड (एलओए) जारी किया है और इस पर काम जल्द ही शुरू हो जाएगा।

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शेंद्रा बिडकिन इंडस्ट्रियल एरिया (एसबीआईए) एक औद्योगिक क्लस्टर है जिसका कुल क्षेत्रफल 84.17 वर्ग किलोमीटर है और प्रारंभिक चरण में इसके 41.42 वर्ग किमी का विकास किया गया है। इनमें से 8.39 वर्ग किमी का क्षेत्र जालना रोड के उत्तर में स्थित है और यह मौजूदा एमआईडीसी शेंद्रा औद्योगिक पार्क से जुड़ा है और 32.03 वर्ग किमी का शेष क्षेत्र बिडकिन के पास स्थित है।

शेंद्रा में निर्माण कार्य पूरे जोर पर है और इसके लिए सभी आवश्यक मंजूरी ले ली गई है। एआईटीएल ने प्रस्तावित स्मार्ट सिटी में विभिन्न औद्योगिक और संबंधित गतिविधियों के लिए जमीन का आवंटन शुरू कर दिया है।

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बिडकिन क्षेत्र के लिए, ईपीसी ठेकेदारों के चयन के लिए विभिन्न ट्रंक इंफ्रास्ट्रक्च र घटकों के लिए निविदा पैकेज को भारत सरकार ने 6414.21 करोड़ रुपये के लिए मंजूरी दे दी है। पर्यावरण मंजूरी सहित अन्य सभी आवश्यक मंजूरी पहले ही पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय (एमओईएफ एंड सीसी) द्वारा प्रदान कर दी गई है।

महाराष्ट्र सरकार ने एआईटीएल को जमीन हस्तांतरित कर दी है, और 849.90 करोड़ रुपये की एनआईसीडीआईटी इक्विटी जारी कर दी गई है। निर्माण संबंधी सभी गतिविधियां साल 2019 के अगस्त तक पूरी होने की संभावना है।

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