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नोटबंदी का दिखा असर, वित्त वर्ष में बढ़े 1 करोड़ टैक्स पेयर्स

8 नवंबर 2016 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश में 500 और 1000 हजार के पुराने नोट बंद किए थे। इसके बाद पूरे देश में नोटबंदी के सक्सेज और अनसक्सेजफुल होने को लेकर कई खबरें चलती रही हैं।

Updated on: 03 May 2017, 11:18 AM

नई दिल्ली:

8 नवंबर 2016 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश में 500 और 1000 हजार के पुराने नोट बंद किए थे। इसके बाद पूरे देश में नोटबंदी के सक्सेज और अनसक्सेजफुल होने को लेकर कई खबरें चलती रही हैं। हाल ही में आई खबरों के मुताबिक देश में इस साल करीब 1 करोड़ नए टैक्सपेयर्स जुड़े हैं।

बता दें कि रविवार को पीएम मोदी के सामने रेवेन्यू डिपार्टमेंट के अधिकारियों ने एक प्रेजेंटेशन दिया है। एक वेबसाइट के मुताबिक इस प्रेजेटेंशन में शामिल दो अधिकारियों ने जानकारी दी है कि पिछले वित्तवर्ष में करीब 95 लाख नए टैक्सपेयर्स जुड़े हैं।

 

पिछले वित्त वर्ष में देश में कुल 5 करोड़ 28 लाख रिटर्न फाइल किए गए हैं। केंद्र सरकार लगातार ही लोगों को टैक्स के दायरे में लाने और रिटर्न फाइल करवाने के लिए कोशिश करती रही है।

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इन कोशिशों में सबसे बड़ा कदम था नोटबंदी। कालेधन को खत्म करने और लोगों को इलेक्ट्रॉनिक ट्रांजेक्शन पर लाने के लिए केंद्र सरकार ने यह नीति अपनाई थी।

नोटबंदी के बाद इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने करीब 18 लाख लोग ऐसे शॉर्ट लिस्ट किए थे जिनके द्वारा किए गए ट्रांजेक्शन उनकी प्रोफाइल से मैच नहीं खाते थे। जिन लोगों में ऊंची कीमतों में खरीददारी के डिटेल्स सामने आई थी उन्हें डिपार्टमेंट की ओर से क्लीन मनी ऑपरेशन के तहत एसएमएस और ईमेल से जवाब मांगे गए थे।

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