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Petrol Diesel Latest News: मोदी सरकार ने 1 साल से पेट्रोल-डीजल पर नहीं बढ़ाए टैक्स, जानिए फिर क्यों बढ़ गए दाम

Petrol Diesel Latest News: पेट्रोल और डीजल की महंगाई की वजह से केंद्र की नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) सरकार की हर तरफ आलोचना हो रही है. पेट्रोल-डीजल की महंगाई की वजह से देशभर में विरोध प्रदर्शन भी हो रहे हैं.

Updated on: 29 Jul 2021, 10:49 AM

highlights

  • अप्रैल 2020 से मौजूदा समय तक पेट्रोल के दाम में 32 रुपये प्रति लीटर तक की बढ़ोतरी
  • पिछले एक साल में पेट्रोल-डीजल पर केंद्रीय करों में कोई भी बढ़ोतरी नहीं की गई: हरदीप सिंह पुरी

नई दिल्ली:

Petrol Diesel Latest News: पेट्रोल और डीजल की कीमतें रिकॉर्ड ऊंचाई पर हैं. देश के कई शहरों में पेट्रोल की कीमत 110 रुपये प्रति लीटर के ऊपर बिक रहा है. वहीं कुछ ऐसे राज्य भी हैं जहां डीजल का दाम भी 100 रुपये प्रति लीटर के आंकड़े को पार कर गया है. पेट्रोल और डीजल की महंगाई की वजह से केंद्र की नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) सरकार की हर तरफ आलोचना हो रही है. पेट्रोल-डीजल की महंगाई की वजह से देशभर में विरोध प्रदर्शन भी हो रहे हैं. विभिन्न पेट्रोलियम उत्पादों की कीमतों में बढ़ोतरी की वजह से विपक्ष के निशाने पर आई मोदी सरकार ने कहा है कि पिछले एक साल में पेट्रोल और डीजल के ऊपर सरकार की ओर से किसी भी तरह के टैक्स में कोई भी बढ़ोतरी नहीं की गई है.

अप्रैल 2020 से मौजूदा समय तक पेट्रोल के दाम में 32 रुपये प्रति लीटर तक की बढ़ोतरी

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने एक सवाल के लिखित जवाब में राज्यसभा को इन सब बातों की जानकारी दी है. बता दें कि अप्रैल 2020 से मौजूदा समय तक पेट्रोल के दाम में 32 रुपये प्रति लीटर तक की बढ़ोतरी हो गई है. उनका कहना है कि पिछले एक साल में पेट्रोल और डीजल पर केंद्रीय करों में कोई भी बढ़ोतरी नहीं की गई है. उनका कहना है कि पेट्रोल और डीजल के रिटेल बिक्री की कीमतों में हुई बढ़ोतरी उच्च अंतर्राष्ट्रीय उत्पाद मूल्यों और विभिन्न राज्य सरकारों द्वारा वसूले गए वैट में बढ़ोतरी की वजह से आधार मूल्य बढ़ने से हुई है.

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि सरकार विभिन्न अंतरराष्ट्रीय मंचों पर कच्चा तेल, पेट्रोल और डीजल के अंतर्राष्ट्रीय मूल्य में अस्थिरता से संबंधित मुद्दे को उठाने का प्रयास कर रही है. उनका कहना है कि पेट्रोल और डीजल के दाम को क्रमश: 26 जून 2010 और 19 अक्टूबर 2014 से बाजार के निर्धारण के आधार पर बनाया है. बता दें कि सार्वजनिक क्षेत्र की ऑयल मार्केटिंग कंपनियां अंतर्राष्ट्रीय उत्पाद मूल्यों और बाजार की स्थिति के आधार पर पेट्रोल और डीजल की कीमतों के निर्धारण के संबंध में निर्णय करती हैं. उनका कहना है कि ऑयल मार्केटिंग कंपनियों द्वारा पेट्रोल और डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी अंतर्राष्ट्रीय मूल्यों और रुपया-डॉलर विनिमय दर में होने वाली परिवर्तन के आधार पर की गई है.