logo-image

Edible Oil News: पिछले हफ्ते कैसा रहा स्थानीय तेल-तिलहन का बाजार, जानिए क्या रही कीमतें

Edible Oil News: बाजार सूत्रों ने कहा कि वायदा करोबार में सरसों दाना (तिलहन) के भाव 4,190-4,225 रुपये प्रति क्विन्टल बोले गए, जबकि सरकार ने एक अप्रैल से सरसों का न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) 4,425 रुपये क्विन्टल तय कर रखा है.

Updated on: 12 Apr 2020, 12:48 PM

दिल्ली:

Edible Oil News: सरसों (Mustard), सोयाबीन (Soybean), बिनौला, मूंगफली (Groundnut) जैसे स्थानीय तेलों की मांग बढ़ने से बीते सप्ताह दिल्ली के तेल-तिलहन बाजार में इन तेलों की कीमतों में सुधार दर्ज हुआ. इसके अलावा देश में लॉकडाउन’ के कारण के रेस्तरां, खोमचे की दुकानें बंद होने की वजह से मांग न होने के बावजूद भाव ऊंचा बोले जाने के कारण सीपीओ (CPO) और पामोलीन तेल कीमतों में भी सुधार दिखा. बाजार सूत्रों ने कहा कि वायदा करोबार में सरसों दाना (तिलहन) के भाव 4,190-4,225 रुपये प्रति क्विन्टल बोले गए, जबकि सरकार ने एक अप्रैल से सरसों का न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) 4,425 रुपये क्विन्टल तय कर रखा है.

यह भी पढ़ें: शीर्ष दस कंपनियों के मार्केट कैप में चार लाख करोड़ रुपये की बढ़ोतरी

तेल तिलहन का हाजिर बाजार

सटोरियों द्वारा मंडियों में सरसों की आवक शुरू होने से ठीक पहले जानबूझकर भाव तोड़ने और किसानों को सस्ते में अपने सौदे बेचने के लिए बाध्य करने से सरसों दाना के भाव पिछले सप्ताहांत के मुकाबले 15 रुपये की हानि के साथ 4,190-4,225 रुपये प्रति क्विन्टल पर बंद हुए, जबकि सरसों दादरी का भाव 100 रुपये की गिरावट दर्शाता 8,650 रुपये प्रति क्विन्टल पर बंद हुआ. दूसरी ओर हल्के तेल की मांग होने के कारण सरसों पक्की घानी और कच्ची घानी की कीमतें 25-25 रुपये के सुधार के साथ क्रमश: 1,390-1,515 रुपये और 1,440-1,560 रुपये प्रति टिन पर बंद हुईं. सेहत के प्रति बढ़ती जागरुकता और हल्के तेलों की मांग होने के कारण मूंगफली गरी और मूंगफली गुजरात के भाव क्रमश: 20 रुपये और 100 रुपये सुधरकर क्रमश: 4,835-4,860 रुपये और 13,050 रुपये प्रति क्विन्टल पर पर पहुंच गए.

यह भी पढ़ें: Covid-19: अब विश्व बैंक ने भी भारतीय अर्थव्यवस्था को लेकर कही ये बड़ी बात

मूंगफली तेल गुजरात की कीमत 100 रुपये के सुधार के साथ 13,050 रुपये प्रति क्विन्टल पर बंद हुई. मूंगफली साल्वेंट रिफाइंड का भाव भी 20 रुपये का सुधार प्रदर्शित करता 1,960-2,010 रुपये प्रति टिन पर बंद हुआ. बेहद कमजोर मांग होने के कारण वनस्पति घी का भाव पिछले सप्ताहांत के मुकाबले 10 रुपये की हानि के साथ 965-1,170 रुपये प्रति टिन (15 किग्रा) रह गया जबकि तिल मिल डिलिवरी का भाव 10,500-15,000 रुपये रुपये प्रति क्विंटल पर अपरिवर्तित बना रहा.

यह भी पढ़ें: Covid-19: अभी शुरू कर दें इन टॉप 10 म्यूचुअल फंड्स में निवेश, भविष्य में मिल सकता है बंपर रिटर्न

दूसरी ओर मांग बढ़ने से सोयाबीन दाना और लूज के भाव, पिछले सप्ताहांत के बंद भाव के मुकाबले क्रमश: 125 रुपये और 100 रुपये के सुधार के साथ क्रमश: 4,025-4,050 रुपये और 3,800-3,850 रुपये प्रति क्विन्टल पर बंद हुए। विदेशों में मजबूती के रुख और मांग बढ़ने के कारण सोयाबीन मिल डिलिवरी दिल्ली, सोयाबीन इंदौर और सोयाबीन डीगम के भाव भी क्रमश: 30 रुपये, 110 रुपये और 110 रुपये के सुधार के साथ क्रमश: 9,030 रुपये, 8,610 रुपये और 7,760 रुपये प्रति क्विंटल पर बंद हुए. भारी तेल की मांग न होने तथा भाव ऊंचा बोले जाने के कारण सीपीओ एक्स कांडला 150 रुपये का सुधार दर्शाता 6,430 रुपये प्रति क्विन्टल हो गया, जबकि समीक्षाधीन सप्ताहांत में पामोलीन दिल्ली और पामोलीन कांडला तेल के भाव क्रमश: 7,880 रुपये और 7,080 रुपये प्रति क्विन्टल पर अपरिवर्तित बने रहे. स्थानीय तेलों की मांग के कारण बिनौला मिल डिलिवरी हरियाणा तेल की कीमत 150 रुपये सुधरकर समीक्षाधीन सप्ताहांत में 7,950 रुपये प्रति क्विन्टल पर बंद हुई.