यूपी बीजेपी सरकार में मंत्री रहे स्वामी प्रसाद मौर्य के खिलाफ गिरफ्तारी का वारंट
Swami Prasad Maurya को हिंदू देवताओं का अपमान करने के लिए एमपी-एमएलए कोर्ट द्वारा उनके खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किए जाने के बाद पुलिस कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है.
highlights
- स्वामी प्रसाद मौर्य के खिलाफ अदालत ने वारंट जारी किया
- एमपीएमलए कोर्ट ने 24 जनवरी को पेश करने के आदेश दिए
- देवी-देवताओं पर आपत्तिजनक टिप्पणी करने का आरोप
नई दिल्ली:
Swami Prasad Maurya: उत्तर प्रदेश के पूर्व कैबिनेट मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य ( Swami Prasad Maurya ) के खिलाफ अदालत ने वारंट जारी किया है. स्वामी प्रसाद मौर्या पर देवी-देवताओं पर आपत्तिजनक टिप्पणी करने और धार्मिक भावनाओं को भड़काने का आरोप है. एमपीएमलए कोर्ट ने 24 जनवरी को पेश करने के आदेश दिए हैं. जानकारी के अनुसार मौर्या पर यह मुकदमा पिछले सात साल से चल रहा है. पूर्व कैबिनेट मंत्री ने बसपा में पूजा न करने का बयान दिया था. बीजेपी छोड़ने के ठीक एक दिन बाद स्वामी प्रसाद मौर्य को हिंदू देवताओं का अपमान करने के लिए एमपी-एमएलए कोर्ट द्वारा उनके खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किए जाने के बाद पुलिस कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है.
स्वामी प्रसाद मौर्या के खिलाफ सुलतानपुर की एमपी-एमएलए कोर्ट ने यह वारंट जारी किया है. एमपी-एमएलए कोर्ट ने 2014 में धार्मिक भावनाएं भड़काने के मामले में आदेश दिया है. अब 24 जनवरी को होगी सुनवाई. आपको बता दें कि इससे पहले यूपी भाजपा के पूर्व मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य, (जिन्होंने मंगलवार को राजनीतिक तूफान खड़ा करते हुए इस्तीफा दे दिया था) ने कहा है कि हालांकि उन्होंने अभी तक भाजपा नहीं छोड़ी है और समाजवादी पार्टी में शामिल नहीं हुए हैं, लेकिन उनकी वापसी का कोई सवाल ही नहीं है। उन्होंने बुधवार को संवाददाताओं से कहा, "मैंने भाजपा को खारिज कर दिया है और वापस जाने का कोई सवाल ही नहीं है।"
उन्होंने कहा, "मैंने केवल एक मंत्री के रूप में इस्तीफा दिया है। मैं जल्द ही भाजपा छोड़ दूंगा। अभी मैं समाजवादी पार्टी में शामिल नहीं हो रहा हूं।" मौर्य ने कहा कि उनके इस्तीफे ने भाजपा में तूफान खड़ा कर दिया है और पार्टी को हिला कर रख दिया है।