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जन्मोत्सव पर ऐसे करें कन्हैया का मेकप, ये है जरुरी सामान

श्रीकृष्ण जन्माष्टमी( Shri Krishna Janmashtami) के दिन भक्त सुबह से ही अपने घर के पूजा स्थलों को साफ करके यह पर्व मनाने की तैयारी करते हैं. उन्हें सजाने के लिए विभिन प्रकार के वस्त्रों व अन्य सामानों को लेकर आते हैं.

News Nation Bureau
| Edited By :
25 Aug 2021, 11:07:14 PM (IST)

highlights

  • इस समय पूरे देश में जन्माष्टमी को लेकर चल रही तैयारी 
  • 30 अगस्त को मनाया जाएगा भगवान कृष्ण के जन्मोत्सव का त्यौहार 
  • मध्यरात्रि तक होगी भगवान कृष्ण की आराधना 

New delhi:

सनातन धर्म में भगवान कृष्ण की पूजा-अर्चना का बहुत महत्व है. इस समय पूरे देश में जन्माष्टमी को लेकर तैयारी चल रही है. हिंदू पंचांग के अनुसार, भगवान श्रीकृष्ण का जन्म उत्सव हर वर्ष भाद्रपद महीने के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को मनाए जाने का विधान है. इस बार कृष्ण का जन्म दिन पर्व 30 अगस्त (सोमवार) को हर्षोउल्लास के साथ मनाया जाएगा. इस दिन सभी भक्त मध्यरात्रि का वृत रखकर भगवान कृष्ण की आराधना करेंगे. साथ ही भगवान को भोग लगाकर रात्रि को ही भोजन ग्रहण करेंगे. इस बार पूजा अर्चना को लेकर विशेष योग भी बन रहे हैं. साथ ही भगवान के मेकप के लिए भी लोगों ने एक खास प्लान बनाया है. जिसको लेकर अभी से बाजार सामान बिकना शुरु हो गया है. जानिए क्या जरुरी सामान होता है भगवान कृष्ण के मेकप के लिए.

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श्रीकृष्ण जन्माष्टमी( Shri Krishna Janmashtami) के दिन भक्त सुबह से ही अपने घर के पूजा स्थलों को साफ करके यह पर्व मनाने की तैयारी करते हैं. उन्हें सजाने के लिए विभिन प्रकार के वस्त्रों व अन्य सामानों को लेकर आते हैं. मान्यताओं के अनुसार, जन्माष्टमी के दिन भगवान कृष्ण का पूर्ण श्रृंगार कर पूजन करने से वह बहुत प्रसन्न होते हैं. साथ ही  भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूरी करते हैं. जन्माष्टी पर भगवान श्रीकृष्ण कैसे करें उसके लिए क्या जरुरी सामान की आवश्यकता होती है. यह हम आगे बताने जा रहे हैं.


ये सामान है जरुरी 
पालना या झूला (जन्माष्टमी के दिन भगवान कृष्ण के लड्डू गोपाल स्वरूप के पूजन का विधान है
कपड़े या वस्त्र
मोर पंख युक्त मुकुट
पाञ्चजन्य शंख
बांसुरी
सुदर्शन चक्र
कुण्डल-मणि
माला
शारंग धनुष
पायल या पैजनियां
गदा (कृष्णजी कौमौदकी गदा, नंदक खड्ग और जैत्र नामक रथ रखते थे, जिनके सारथी का नाम दारुक/ बाहुक था)
कान्हा को गाय, तुलसी, माखन मिश्री, पीपल, पंजरी बहुत पसंद है.
नीला रंग विषेश कृष्ण कन्हैया का वर्ण है. हरा रंग उनके मोरपंख का आकर्षण है. गुलाबी रंग राधा और गोपियों का प्रिय है. इसलिए इन रंगों का भी भगवान के मेकप में विशेष योगदान है.