.

सांसद निधि फिर से बहाल, जानिए दो वर्षो के लिये क्यों किया गया था निलंबित

केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सांसद स्थानीय क्षेत्र विकास योजना (MPLADS)की बहाली और निरंतरता को मंजूरी दी.

News Nation Bureau
| Edited By :
10 Nov 2021, 04:55:07 PM (IST)

highlights

  • सांसद स्थानीय क्षेत्र विकास योजना की बहाली और निरंतरता को मंजूरी
  • सांसद निधि को अस्थायी रूप से दो वर्षो के लिये निलंबित किया गया था
  • 2025-26 तक जारी रहेगी  सांसद निधि योजना

नई दिल्ली:

देश में सांसदों एवं विधायकों को प्रतिवर्ष करोड़ों रुपये अपने निर्वाचन क्षेत्र के विकास के लिए दिया जाता है. इस धनराशि को सांसद एवं विधायकों के अनुमोदन पर विकास कार्यों में खर्च किया जाता है. समय-समय पर इसमें व्याप्त भ्रष्टाचार को देखते हुए इसे समाप्त करने की मांग होकी रही है. कोरोना काल में दो वर्षों के लिए इस योजना को निलंबित किया गया था. लेकिन केंद्रीय मंत्रिमंडल ने इसे फिर से बहाल करने का निर्णय लिया है. केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने ट्वीट कर बताया कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सांसद स्थानीय क्षेत्र विकास योजना (MPLADS) की बहाली और निरंतरता को मंजूरी दी. वित्तीय वर्ष 2021-22 के शेष भाग के लिए बहाल और 2025-26 तक जारी सांसद निधि योजना जारी रहेगी .

कोरोना काल में केंद्र सरकार ने मंत्रियों के वेतन एवं भत्तों से संबंधित संशोधन विधेयक और सांसदों के वेतन, भत्ते में एक वर्ष के लिए 30 प्रतिशत की कटौती कर दिया था. इस धनराशि का उपयोग कोरोना महामारी के कारण उत्पन्न स्थिति से मुकाबले के लिए किया जाना था. इसके साथ ही सांसद क्षेत्र विकास निधि (एमपीलैड) यानि सांसद निधि को अस्थायी रूप से दो वर्षो के लिये निलंबित किया गया था.

ठाकुर ने कहा कि 2021-22 की शेष अवधि के लिए एक किस्त में दो करोड़ रुपये प्रति सांसद की दर से राशि जारी की जाएगी. उन्होंने कहा कि 2022-23 से 2025-26 तक प्रत्येक सांसद को पांच करोड़ रुपये प्रतिवर्ष की दर से 2.5 करोड़ रुपये की राशि दो किस्तों में जारी की जाएगी.

पिछले साल अप्रैल में सरकार ने 2020-21 और 2021-22 के दौरान एमपीलैड को निलंबित कर दिया था और कहा था कि धन का उपयोग स्वास्थ्य सेवाओं के प्रबंधन और देश में कोविड-19 महामारी से निपटने में किया जाएगा. इस योजना के तहत सांसद अपने निर्वाचन क्षेत्रों में हर साल पांच करोड़ रुपये तक के विकास कार्यक्रमों की सिफारिश कर सकते हैं.

Union cabinet gives nod to committed price support of Rs 17,408.85 cr to the Cotton Corporation of India. CCEA approves incurring expenditure for reimbursing losses under MSP ops for cotton during the cotton season (Oct to Sept) 2014-15 to 2020-21: Union Minister Anurag Thakur pic.twitter.com/VU3XyM3pox

— ANI (@ANI) November 10, 2021

इसके साथ ही केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर मे बताया कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने भारतीय कपास निगम को 17,408.85 करोड़ रुपये के प्रतिबद्ध मूल्य समर्थन को मंजूरी दी. सीसीईए ने कपास सीजन (अक्टूबर से सितंबर) 2014-15 से 2020-21 के दौरान कपास के लिए एमएसपी ऑप्स के तहत नुकसान की प्रतिपूर्ति के लिए व्यय को मंजूरी दी.