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पीएम केयर के लिए पाकिस्तान और चीन से भी लिया फंड के लिए दान!

कांग्रेस महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला (Randeep Surjewala) ने एक के बाद एक कई ट्वीट कर पीएम केयर फंड पर सवाल उठाए हैं. उन्होंने कहा है कि आखिर इस फंड के लिए 27 देशों में स्थित भारतीय दूतावासों और उच्चायोगों ने इस फंड में दान के लिए प्रचार किया.

News Nation Bureau
| Edited By :
16 Dec 2020, 12:05:31 PM (IST)

नई दिल्ली:

कोरोना महामारी में पीएम केयर फंड (PM Care Fund) को लेकर शुरू से ही सवाल उठाए जा रहे हैं. इसमें सबसे बड़ा सवाल यही था कि जब प्रधानमंत्री आपदा राहत कोष पहले से अस्तित्व में है ऐसे में पीएम केयर फंड के नाम से एक निजी ट्र्स्ट बनाने की क्या जरूरत थी और इसमें सरकारी मशीनरी का इस्तेमाल क्यों किया गया. अब कांग्रेस महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कई ट्वीट कर इस बारे में सवाल उठाए हैं. उन्होंने एक आरटीआई का हवाला देते हुए कहा कि कई दूतावासों और उच्चायोगों ने बताया है कि उन्होंने पीएम केयर्स के लिए अपनी वेबसाइट और सोशल मीडिया में प्रचार किया. 

रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि इस तरह पीएम केयर को चीन, पाकिस्तान और कतर जैसे देशों से भी दान मिला. द क्विंट में प्रकाशित रिपोर्ट के हवाले से सुरजेवाला ने कहा कि, “आरटीआई से चौंकाने वाला खुलासा हुआ है कि 27 देशों में भारतीय दुतावासों ने प्रधानमंत्री की अध्यक्षता वाले पीएम केयर्स के लिए प्रचार किया भारी भरकम दान लिया जो हजारों करोड़ में है. इसके बावजूद इस फंड को सीएजी, आरटीआई या फिर ऑडिट के दायरे से अलग रखा गया.”

4/n
The intriguing case of ‘foreign donations’, including from China, Pakistan & Qatar to #PMCaresFund !

Questions to PM-:

7. Why were the 27 Indian Embassies advertising the Fund through “Closed Channels, not in Public Domain”, when Fund is not a ‘Public Authority’ within RTI? https://t.co/a8qnSREgwJ

— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) December 16, 2020

उन्होंने आगे कहा कि, “दूतावासों और उच्चायोगों ने इस तरह इस फंड का प्रचार किया जैसे कि यह दान भारत सरकार के लिए मांगा जा रहा है, जबकि यह एक प्राइवेट ट्रस्ट है और इसे लेकर जबरदस्त गोपनीयता बरती गई है.”

सुरजेवाला ने पूछे ये 10 सवाल  

-भारतीय दूतावासों ने पीएम केयर्स फंड के लिए आखिर क्यों प्रचार किया और दान लिया?

-इस फंड में दान के लिए प्रतिबंधित चीनी ऐप्स पर क्यों प्रचार किया गया?

-इस फंड में पाकिस्तान से कितना पैसा आया और किसने दिया?

-कतर की वह कौन सी दो कंपनियां हैं जिन्होंने इस फंड में दान किया और कितना पैसा मिला?

-27 देशों से कुल कितने हजार करोड़ रुपए इस फंड के लिए मिले?

-क्या इस फंड और एनआईएसएसईआई एएसबी के साथ मिलीभगत थी और क्या उनकी फैक्टरी शुरु होने से इस फंड का कोई रिश्ता है?

-27 भारतीय दूसतावासों ने आखिर इस फंड के लिए दान ‘क्लोज्ड चैनल’ से लेकर पब्लिक डोमेन से क्यों नहीं लिया, जबकि यह फंड आरटीआई के तहत पब्लिक अथॉरिटी नहीं है?

-इस फंड के सरकार द्वारा एफसीआरए के दायरे से क्यों बाहर रखा गया?

-भारत में किसी धर्मार्थ ट्रस्ट के लिए सिर्फ इसी ट्रस्ट को छूट क्यों दी गई? आखिर इसे लेकर विशेष व्यवस्था क्यों है?

-आखिर फंड पब्लिक अथॉरिटी क्यों नहीं है?

-इस फंड को सीएजी या भारत सरकार की किसी एजेंसी द्वारा ऑडिट क्यों नहीं किया जा सकता जिससे इसमें विदेशों से मिले पैसे की जानकारी सामने आ सके?