अब ज्यादा हो रहा है अधीर रंजन, जब संसद में PM मोदी ने कांग्रेस नेता को टोका
लोकसभा में पीएम नरेंद्र मोदी (PM Modi) के राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव के दौरान माहौल कुछ नरम-गरम रहा. प्रधानमंत्री मोदी ने अपने भाषण की शुरुआत में कहा कि भारत ने दूसरे देशों के मुकाबले कोरोना महामारी के मामले में बेहतर प्रदर्शन किया.
नई दिल्ली:
लोकसभा में पीएम नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) के राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव के दौरान माहौल कुछ नरम-गरम रहा. प्रधानमंत्री मोदी ने अपने भाषण की शुरुआत में कहा कि भारत ने दूसरे देशों के मुकाबले कोरोना वायरस महामारी के मामले में बेहतर प्रदर्शन किया. कुछ देर बाद जब पीएम मोदी कृषि कानून पर बोला शुरू किए तो विपक्ष ने शोरगुल शुरू कर दिया. इस पर पीएम कुछ खिन्न हुए, लेकिन उन्होंने बाद में माहौल को अपने चिरपरिचित अंदाज में हल्का भी कर दिया. इस दौरान एक मौका ऐसा भी आया, जब प्रधानमंत्री ने संसद में कांग्रेस नेता को टोकते हुए कहा कि 'अधीर रंजन जी, अब ज्यादा हो रहा है, मैं आपका बहुत सम्मान करता हूं'
किसानों के मुद्दे पर प्रधानमंत्री ने कहा कि कृषि कानूनों पर प्रधानमंत्री ने कहा कि कोरोना काल में 3 कृषि कानून (Ariculture Law) लाए गए. ये कृषि सुधार का सिलसिला बहुत ही आवश्यक और महत्वपूर्ण है और बरसों से जो हमारा कृषि क्षेत्र चुनौतियां महसूस कर रहा है, उसको बाहर लाने के लिए हमें निरंतर प्रयास करना ही होगा और हमने एक ईमानदारी से प्रयास किया भी है. इस दौरान कांग्रेस (Congress) पर भी नरेंद्र मोदी ने निशाना साधा. जिसके बाद कांग्रेस ने लोकसभा से वॉकआउट कर दिया.
कृषि कानूनों पर पीएम नरेंद्र मोदी ने लोकसभा में कहा, 'मैं देख रहा था कि कांग्रेस के साथियों ने जो चर्चा की, वो इस कानून के रंग पर तो बहुत चर्चा कर रहे थे. अच्छा होता कि उसके कंटेट और इंटेट पर चर्चा करते, ताकि देश के किसानों तक सही चीजें पहुंचती.' उन्होंने कहा, 'हम मानते हैं कि इसमें सही में कोई कमी हो, किसानों का कोई नुकसान हो, तो बदलाव करने में क्या जाता है. ये देश देशवासियों का है. हम किसानों के लिए निर्णय करते हैं, अगर कोई ऐसी बात बताते हैं जो उचित हो, तो हमें कोई संकोच नहीं है. किसानों को सिर्फ एक वैकल्पिक व्यवस्था मिली है.'
प्रधानमंत्री ने कहा, 'कानून लागू होने के बाद न देश में कोई मंडी बंद हुई, न एमएसपी बंद हुआ. ये सच्चाई है. इतना ही नहीं ये कानून बनने के बाद एमएसपी की खरीद भी बढ़ी है.' इस दौरान मोदी के संबोधन के बीच विपक्ष ने हंगामा शुरू कर दिया. जिसको लेकर पीएम मोदी ने विरोधियों पर निशाना साधते हुए कहा, 'संसद में ये हो-हल्ला, ये आवाज, ये रुकावटें डालने का प्रयास, एक सोची समझी रणनीति के तहत हो रहा है. रणनीति ये है कि जो झूठ, अफवाहें फैलाई गई हैं, उसका पर्दाफाश हो जाएगा. इसलिए हो-हल्ला मचाने का खेल चल रहा है.'
कृषि कानूनों पर किसानों द्वारा यह कहने पर कि हमने मांगा नहीं तो दिया क्यों, इस पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, 'मैं हैरान हूं पहली बार एक नया तर्क आया है कि हमने मांगा नहीं तो आपने दिया क्यों. दहेज हो या तीन तलाक, किसी ने इसके लिए कानून बनाने की मांग नहीं की थी, लेकिन प्रगतिशील समाज के लिए आवश्यक होने के कारण कानून बनाया गया. मांगने के लिए मजबूर करने वाली सोच लोकतंत्र की सोच नहीं हो सकती है.' उन्होंने कहा, 'हमारे यहां एग्रीकल्चर समाज के कल्चर का हिस्सा रहा है। हमारे पर्व, त्योहार सब चीजें फसल बोने और काटने के साथ जुड़ी रही हैं. हमारा किसान आत्मनिर्भर बने, उसे अपनी उपज बेचने की आजादी मिले, उस दिशा में काम करने की आवश्यकता है.'
प्रधानमंत्री के संबोधन के दौरान लोकसभा में विपक्ष ने फिर से हंगामा शुरू कर दिया. इस दौरान विपक्षी दलों ने कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग करते हुए नारेबाजी शुरू कर दी. जिसके बाद कांग्रेस ने लोकसभा से वॉकआउट कर दिया. इस पर प्रधानमंत्री ने कहा कि कांग्रेस एक कंफ्यूज पार्टी है. कांग्रेस का राज्य सभा का तबका एक तरह है तो लोकसभा का तबका दूसरी तरफ है.