अच्छी याद्दाश्त चाहते हैं तो लीजिये योग का सहारा
व्यायाम व योग से जिस तरह मांसपेशियों का विकास होता है, वैसा ही दिमाग के साथ भी हो सकता है
नई दिल्ली:
लंबे समय तक योग करना दिमाग की संरचना में बदलाव ला सकता है और बुढ़ापे में याद्दाश्त कम होने की संभावना भी कम होती है। रिसर्च के दौरान जब रिसर्चर्स ने लंबे समय से योग का अभ्यास करने वाली बुजुर्ग महिलाओं के दिमाग का आकलन किया, तो उन्होंने ऐसी महिलाओं के दिमाग के बाएं प्रीफ्रंटल कॉर्टेक्स में कॉर्टिकल की अधिक मोटाई पाई, जो ध्यान और स्मृति से जुड़ा होता है।
उम्र बढ़ने के साथ ही दिमाग की संरचना और कार्यक्षमता में बदलाव होता है और इससे अक्सर ध्यान और स्मृति में कमी हो जाती है।
इस दौरान मस्तिष्क में एक ऐसा बदलाव होता है, जिसमें सेरेब्रल कॉर्टेक्स पतला हो जाता है। यह वैज्ञानिकों के अनुसार संज्ञानात्मक गिरावट से संबंधित है।
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इन परिवर्तनों को कैसे बदला और धीमा किया जा सकता है, इसका जवाब देते हुए ब्राजील के साउ पाउलो स्थित इसरेलिता एल्बर्ट आइंस्टीन अस्पताल की एलिसा कोजासा ने बताया, 'व्यायाम व योग से जिस तरह मांसपेशियों का विकास होता है, वैसा ही दिमाग के साथ भी हो सकता है।'
यह शोध 'फ्रंटियर्स इन एजिंग न्यूरोसाइंस' मैगजीन में प्रकाशित हुआ है।
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