EC प्रधानमंत्री के खिलाफ कर रही है जांच, कांग्रेस ने आचार संहिता के उल्लंघन का लगाया था आरोप
चुनाव आयोग ने यह भी स्पष्ट किया कि कांग्रेस के निर्वाचित अध्यक्ष राहुल गांधी के खिलाफ कोई एफआईआर दर्ज नहीं की गई है। कांग्रेस का आरोप है कि गुरुवार को प्रधानमंत्री ने मतदान के बाद 'रोड शो' करके आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन किया है।
नई दिल्ली:
चुनाव आयोग ने गुरुवार को कहा कि कांग्रेस की ओर से प्रधानमंत्री के खिलाफ अमहदाबाद में चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन को लेकर की गई शिकायत की जांच की जा रही है।
साथ ही, चुनाव आयोग ने यह भी स्पष्ट किया कि कांग्रेस के निर्वाचित अध्यक्ष राहुल गांधी के खिलाफ कोई एफआईआर दर्ज नहीं की गई है।
कांग्रेस का आरोप है कि गुरुवार को प्रधानमंत्री ने मतदान के बाद 'रोड शो' करके आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन किया है।
एक सवाल के जवाब में उप निर्वाचन आयुक्त उमेश सिन्हा ने कहा, 'आज दोपहर में हमें शिकायत मिली है। इसकी जांच की जा रही है। जिसके बारे में हम आपको बताएंगे।'
अहमदाबाद स्थित रानिप में मतदान केंद्र से लौटते समय प्रधानमंत्री अपने वाहन के पायदान पर खड़े हो गए थे और सड़क किनारे खड़ी भीड़ को हाथ हिलाकर मतदान करते समय उनके हाथ में लगी स्याही दिखा रहे थे। इस तरह वह 10 से 15 मिनट तक चले थे।
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सिन्हा ने यह भी स्पष्ट किया कि चुनाव आयोग ने राहुल गांधी की ओर से दिए गए टीवी साक्षात्कार के लिए उनके खिलाफ कोई एफआईआर दर्ज नहीं की गई है। आयोग की ओर से उनको सिर्फ नोटिस भेजा गया है जिसमें उनसे पांच दिनों के भीतर जवाब मांगा गया है।
उन्होंने कहा, 'मध्यरात्रि तक आयोग ने विचार-विमर्श किया और चुनाव की व्यस्तता के बीच हमने मुख्य निर्वाचक अधिकारी के दफ्तर से शीघ्र रिपोर्ट मंगवाई है।'
उन्होंने बताया कि कांग्रेस प्रतिनिधिमंडल की ओर से लगाए गए आरोपों के संबंध में रिपोर्ट गुरुवार की रात तक गुजरात से आएगी। इसलिए मामला अभी जांच के अधीन है और इस संबंध में जो भी कुछ फैसला लिया जाएगा उसकी जानकारी बाद में दी जाएगी।
विपक्षी दलों ने गुजरात में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा कथित तौर पर आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन पर कार्रवाई न करने को लेकर कहा कि चुनाव आयोग के इस रवैये ने उनकी विश्वसनीयता पर गलत छाप छोड़ी है।
बयान में कहा गया है, 'चुनाव आयोग की निष्क्रियता वास्तव में चौंकाने वाली है क्योंकि संस्था अनुच्छेद 324 के तहत अपने संवैधानिक जनादेश को कायम रखने में नाकाम रही है।'
विपक्षी नेताओं ने कहा कि उल्लंघन के लिए कार्रवाई करने के बजाए, चुनाव समिति ने सत्तारूढ़ बीजेपी को उल्लंघन की अनुमति दी और प्रधानमंत्री को मतदान के दिन 'कलवरी' को समर्पित करने की इजाजत दे दी।
उन्होंने कहा कि इस कार्य का सीधा लाभ मतदाताओं के जरिए सत्तारूढ़ बीजेपी को मिलेगा।
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वहीं कांग्रेस द्वारा चुनाव आयोग को 'कठपुतली' कहने पर पलटवार करते हुए बीजेपी ने गुरुवार को कहा कि कठपुतली बनाना कांग्रेस की कला है और चुनाव आयोग पर किया गया हमला पार्टी के राजवंशी अहंकार को दिखाता है।
उन्होंने कहा, 'कठपुतली बनाना आपकी कला है। हार के लिए कोई अन्य बहाना ढूंढें। चुनावी हार की जगह जुबानी जंग नहीं ले सकता।'
उन्होंने कहा, 'अब आप अचानक से चुनाव आयोग पर प्रधानमंत्री को समर्थन करने का आरोप लगाकर अपना गुस्सा क्यों निकाल रहे हैं? परिवार के दरबारी की तरह चुनाव आयोग काम करे, क्या यह उम्मीद करना बहुत ज्यादा नहीं है?'
राव ने कहा, 'चुनाव आयोग पर हमला करना नेहरू राजवंश का राजवंशी अहंकार है। आपने राजा राहुल के खिलाफ नोटिस देने की हिम्मत कैसे की।'
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