नई दिल्ली, 11 अगस्त (आईएएनएस)। म्यूचुअल फंड इंडस्ट्री के एसेट्स अंडर मैनेजमेंट (एयूएम) में जुलाई में रिकॉर्ड बढ़त देखने को मिली है। यह मासिक आधार पर 6 प्रतिशत बढ़कर 64.69 लाख करोड़ रुपये पहुंच गया है, जो कि जून में 60.89 लाख करोड़ रुपये पर था।
म्यूचुअल फंड एयूएम बढ़ने की वजह देश में एसआईपी के चलन में इजाफा होना है। एसोसिएशन ऑफ म्यूचुअल फंड इन इंडिया (एम्फी) के आंकड़ों के अनुसार, जुलाई में एसआईपी के जरिए 23,332 करोड़ रुपये का निवेश हुआ है, जो अब तक का सबसे बड़ा आंकड़ा है। हालांकि, कुछ इक्विटी निवेश 8.61 प्रतिशत कम होकर 37,113.4 करोड़ रुपये पर आ गया है, जो जून में 40,608.19 करोड़ रुपये पर था।
यह लगातार 41वां महीना है, जब ओपन-एंडेड इक्विटी फंड्स में निवेश सकारात्मक रहा है। हालांकि, इस दौरान बाजार में अच्छी तेजी देखने को मिली। जुलाई में सेंसेक्स ने 3.43 प्रतिशत और निफ्टी ने 3.92 प्रतिशत का सकारात्मक रिटर्न दिया है।
सिस्टमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान (एसआईपी) के जरिए निवेश लगातार बढ़ने के कारण एसआईपी एयूएम बढ़कर 13,09,385.46 करोड़ रुपये हो गया है। यह एसआईपी एयूएम का अब तक का सबसे बड़ा आंकड़ा है। जून में यह 12,43,791.71 करोड़ रुपये पर था।
एम्फी में चीफ एग्जीक्यूटिव वेंकट चलसानी ने कहा कि रिटेल निवेशकों की ओर से लगातार म्यूचुअल फंड में निवेश किए जाने के कारण इंडस्ट्री की वृद्धि दर सकारात्मक है। मौजूदा समय में म्यूचुअल फंड रिटेल निवेशकों की वित्तीय रणनीति का एक अहम हिस्सा बन चुका है। सेक्टोरल और थीमेटिक फंड्स में सबसे ज्यादा निवेश देखा जा रहा है। इस कैटेगरी में जुलाई में 18,386.35 करोड़ रुपये का शुद्ध निवेश आया है।
इसके अलावा डेट म्यूचुअल फंड्स में जुलाई में 1,19,587.60 करोड़ रुपये का शुद्ध निवेश हुआ है। इसके उलट जून में 1,07,357.62 करोड़ रुपये की शुद्ध निकासी हुई थी। शॉर्ट टर्म लिक्विड फंड कैटेगरी में 70,060.88 करोड़ रुपये और मनी मार्केट फंड्स में 28,738.03 करोड़ रुपये का शुद्ध निवेश हुआ है।
--आईएएनएस
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